देश के सवा सौ करोड़ लोगों की आशा, अपेक्षाओं का बजट: मोदी  

शतीकालीन सत्र
फाइल फोटो।

आरयू वेब टीम। 

वित्तमंत्री अरुण जेटली ने आज प्रधानमंत्री के ‘न्‍यू इंडिया का बजट’ पेश किया। जिस पर मोदी ने अपनी प्रतिक्रिया देते हुए कहा कि बजट में एग्रीकल्चर से लेकर इन्फ्रास्ट्रक्चर तक पर पूरा ध्यान दिया गया है। अगर बजट में गरीब और मध्यम वर्ग की चिंताओं को दूर करने वाली हेल्थ की योजनाएं हैं, तो छोटे उद्यमियों की वेल्थ बनाने वाली योजनाएं भी शामिल हैं। उन्होंने कहा कि फूड प्रोसेसिंग से लेकर फाईबर ऑप्टिक्स तक, सड़क से शिपिंग तक, युवा से लेकर सीनियर सिटीजन तक, ग्रामीण भारत से आयुष्मान भारत तक, डिजिटल इंडिया से लेकर स्टार्टअप इंडिया तक, देश के सवा सौ करोड़ लोगों की आशा, अपेक्षाओं का बजट है।

प्रधानमंत्री ने आगे कहा कि यह बजट फार्मर फ्रेंडली, कॉमन मैन फ्रेंडली, बिजनेस एनवायरमेंट फ्रेंडली और साथ ही साथ डेवलपमेंट फ्रेंडली भी है। इसमें ईज ऑफ डूइंग बिजनेस के साथ ही ईज ऑफ लिविंग पर भी फोकस किया गया है। उन्होंने कहा कि मध्यम वर्ग के लिए ज्यादा सेविंग्स, 21वीं सदी के भारत के लिए न्यू जेनरेशन इन्फ्रास्ट्रक्चर और बेहतर हेल्थ एश्योरेंस ईज ऑफ डूइंग बिजनेस की दिशा में ठोस कदम है।

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साथ ही हमारे देश के किसानों ने खाद्यान्न और फल-सब्जियों का रिकॉर्ड उत्पादन करके देश के विकास में ऐतिहासिक योगदान दिया है। किसानों की स्थिति को और मजबूत करने के लिए और उनकी आय को और बढ़ाने के लिए इस बजट में अनेक कदम प्रस्तावित हैं। गांव और कृषि क्षेत्र के लगभग 14.5 लाख करोड़ रुपये का रिकॉर्ड आवंटन किया गया है।

पीएम ने कहा कि 51 लाख नये घर, तीन लाख किलोमीटर से ज्यादा लंबी सड़कें, लगभग दो करोड़ शौचालय, पौने दो करोड़ घरों में बिजली का कनेक्शन का सीधा लाभ दलित, पीड़ित, शोषित, वंचित और समाज के आखिरी छोर पर बैठे अपने भाई-बहनों को मिलेगा। ये कार्य विशेषकर ग्रामीण क्षेत्र में रोजगार के नये मौके भी लेकर आने वाले हैं। किसानों को उनकी लागत का डेढ़ गुना मूल्य दिलाने की घोषणा सरकार का महत्वपूर्ण फैसला है।

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