आरयू वेब टीम। इंडियन रेलवे ने एक बार फिर तत्काल टिकट बुकिंग के नियमों में बड़ा बदलाव किया है, जो एक दिसंबर यानी आज से लागू हो गया है। अब टिकट बुक करते समय ओटीपी आएगा। इसके बाद ही बुकिंग प्रक्रिया पूरी होगी। ये नियम पश्चिमी रेलवे ने चुनिंदा ट्रेनों पर लागू किया है। बाद में सभी रेलवे जोन में इसे लागू किया जाएगा।
रेलवे के मुताबिक, यह व्यवस्था एक दिसंबर से मुंबई सेंट्रल-अहमदाबाद शताब्दी एक्सप्रेस पर शुरू होगी। इसे लागू करने का मुख्य उद्देश्य ऐसे यात्रियों को लाभ पहुंचाना है, जो वास्तव में तुरंत यात्रा करना चाहते हैं, लेकिन टिकट नहीं मिल पाता। इसी समस्या को ध्यान में रखते हुए रेलवे बोर्ड ने ओटीपी आधारित तत्काल टिकट व्यवस्था को मंजूरी दी है। बुकिंग के समय पंजीकृत मोबाइल नंबर आए ओटीपी को दर्ज करने पर ही टिकट जारी होगा। इससे फर्जी या गलत मोबाइल नंबर का उपयोग असंभव हो जाएगा और केवल वही यात्री टिकट बुक कर पाएंगे, जिनका मोबाइल नंबर सक्रिय और सत्यापित होगा।
यह भी पढ़ें- रेलवे का फैसला, यात्रियों को मिलेगी कंफर्म टिकट की तारीख बदलने की सुविधा
मोबाइल या लैंडलाइन फोन के स्क्रीन पर कॉल करने वाले व्यक्ति का असली नाम दिखने की सुविधा (सीएनएपी) 15 दिसंबर से शुरू हो सकती है। दूरसंचार विभाग ने टेलीकॉम कंपनियों को इस सुविधा को पूरे देश में लागू करने के निर्देश दे दिए हैं। इससे थर्ड पार्टी ऐप की जरूरत खत्म हो जाएगी। इस नई प्रणाली में कॉल करने वाले का वही नाम दिखाई देगा, जो उसने अपने उपभोक्ता आवेदन फार्म में भरा था।
एटीएम निकासी शुल्क बढ़ा
भारतीय स्टेट बैंक ने एक दिसंबर से एटीएम और ऑटोमेटेड डिपॉजिट कम विदड्रॉल मशीन ट्रांजेक्शन के सेवा शुल्क में बदलाव किया है। वेतन खाताधारकों के लिए केवल दस एटीएम लेनदेन मुफ्त होंगे। इसके बाद 23 रुपये लगेंगे। गैर-वित्तीय लेन-देन पर 11 रुपये लगेंगे। बचत खाता धारक ग्राहकों को पांच मुफ्त लेन-देन मिलेंगे। इसके बाद 23 रुपये देने होंगे। गैर-वित्तीय ट्रांजेक्शन पर दस से बढ़कर 11 रुपये लगेगा।
इन बातों का रखें ध्यान-
1. बुकिंग से पहले मोबाइल नंबर को अपडेट रखें।
2. यह सुनिश्चित करें कि आईआरसीटीसी की वेबसाइट पर वह नंबर सक्रिय हो।
3. कट बुकिंग के दौरान किसी और व्यक्ति का नंबर न डालें।
4. एक बार ओटीपी भेजने के बाद मोबाइल नंबर नहीं बदल सकेंगे।




















