आरयू वेब टीम। देश के उन सभी स्टार्टअप्स को सभी इनोवेटिव युवाओं को बहुत-बहुत बधाई देता हूं, जो स्टार्टअप्स की दुनिया में भारत का झंडा बुलंद कर रहे हैं। स्टार्टअप्स का ये कल्चर देश के कोने-कोने में पहुंचे, भारत के स्टार्टअप्स खुद को आसानी से दुनिया के दूसरे देशों तक पहुंचा सकते हैं। इसलिए आप अपने सपनों को सिर्फ लोकल ना रखें बल्कि ग्लोबल बनाएं। इसके लिए अब देश में हर साल 16 जनवरी को ‘नेशनल स्टार्ट-अप डे’ के रूप में मनाए जाने का फैसला किया गया है।
उक्त बातें शनिवार को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने स्टार्टअप उद्यमियों के साथ संवाद के दौरान घोषणा करते हुए कही। पीएम मोदी ने अपने संवाद में कहा कि, हमारा प्रयास देश में बचपन से ही स्टूडेंट्स में इनोवेशन के प्रति आकर्षण पैदा करने और इनोवेशन को संस्थागत करने का है। इसके लिए नौ हजार से ज्यादा अटल टिंकरिंग लैब्स बच्चों को स्कूलों में इनोवेटे करने और नए विचारों पर काम करने का सुअवसर दे रही हैं।
मोदी ने कहा जिस स्पीड और स्केल में आज भारत का युवा स्टार्ट-अप बना रहा है। पहले इक्का-दुक्का कंपनियां ही बड़ा मुकाम हासिल कर पाती थी, लेकिन पिछले साल 42 यूनिकॉर्न देश में बने हैं।
पीएम ने कहा कि, भारत सरकार के अलग-अलग विभाग, मंत्रालय, नौजवानों और स्टार्ट-अप्स के साथ संपर्क में लगातार बने रहते हैं जिससे उनके नए आइडियाज उन्हें प्रोत्साहित करते हैं। पीएम मोदी ने कहा कि, अब इनोवेशन इंडेक्स में भारत 81वें नंबर से 46 नंबर पर आ गया है।
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प्रधानमंत्री ने आगे कहा कि देश के विकास में महत्वपूर्ण योगदान देने के लिए स्टार्टअप उद्योगों की क्षमता में दृढ़ विश्वास रहा है। यह 2016 में स्टार्टअप इंडिया की प्रमुख पहल के शुभारंभ में परिलक्षित हुआ। सरकार ने स्टार्टअप उद्योगों की प्रगति और उन्नति को बढ़ावा देने के लिए एक सक्षम वातावरण तैयार करने की दिशा में काम किया है। इसका देश में स्टार्टअप इको-सिस्टम पर जबरदस्त प्रभाव पड़ा है और इससे देश में क्षेत्र में अत्यधिक प्रगति हुई है।