आरयू वेब टीम। जेल से निकलने के बाद वापस राजनीत की लय पकड़ रहें राजद सुप्रीमो व पूर्व रेल मंत्री लालू प्रसाद यादव की मुश्किलें एक बार फिर बढ़ती नजर आ रही है। नौकरी के बदले जमीन लेने के मामले में शुक्रवार को सीबीआइ ने कोर्ट में चार्जशीट दाखिल कर दी है। सीबीआइ ने इस मामले में लालू यादव उनकी पत्नी राबड़ी देवी समेत कुल 14 लोगों को आरोपित बनाया है। ये घोटाला 2004 से 2009 के बीच हुआ था तब लालू प्रसाद यादव यूपीए सरकार में रेल मंत्री थे।
सीबीआइ ने कहा कि लालू प्रसाद की बेटी मीसा भारती और रेलवे के एक पूर्व महाप्रबंधक को भी हाल ही में सीबीआइ की विशेष अदालत में दायर चार्जशीट में आरोपित बनाया गया है।
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बताते चलें कि केंद्रीय जांच एजेंसी ने 23 सितंबर, 2021 को रेलवे में कथित भूमि-के-नौकरी घोटाले से संबंधित प्रारंभिक जांच दर्ज की थी, जिसे 18 मई को एक प्राथमिकी में बदल दिया गया था।
एजेंसी के अनुसार, उम्मीदवारों को कथित तौर पर रेलवे अधिकारियों द्वारा “अनुचित जल्दबाजी” में आवेदन करने के तीन दिनों के भीतर समूह डी पदों पर विकल्प के रूप में नियुक्त किया गया था और बाद में, “व्यक्तियों ने स्वयं या उनके परिवार के सदस्यों ने अपनी जमीन हस्तांतरित कर दी थी”।
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यह हस्तांतरण राबड़ी देवी और बेटियों मीसा भारती और हेमा यादव के नाम पर किया गया था। एजेंसी ने आरोप लगाया है कि पटना में करीब 1.05 लाख वर्ग फुट जमीन प्रसाद के परिवार के सदस्यों ने विक्रेताओं को नकद भुगतान कर अधिग्रहित की थी।