चुनावी जनसभा में बोले प्रधानमंत्री मोदी, पहलगाम आतंकी हमला करने वालों को मिलेगी कल्पना से बड़ी सजा

पीएम मोदी
कार्यक्रम को संबोधित करते प्रधानमंत्री मोदी।

आरयू वेब टीम। राष्ट्रीय पंचायती राज दिवस के मौके पर मधुबनी में चुनावी जनसभा को संबोधित करते हुए प्रधानमंत्री  नरेंद्र मोदी ने पहलगाम हमले में जान गंवाने वालों को श्रद्धांजलि दी और मौन रखा। साथ ही कहा कि इस आतंकी हमले की साजिश रचने वालों को कल्पना से भी बड़ी सजा मिलेगी।

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पीएम ने पहलगाम हमले का जिक्र करते हुए कहा कि पहलगाम में आतंकियों ने मासूम देशवासियों को जिस बेरहमी से मारा है, उससे पूरा देश व्यथित है, कोटि-कोटि देशवासी दुखी हैं। सभी पीड़ित परिवारों के दुःख में पूरा देश उनके साथ खड़ा है, जिन परिवारजनों के अभी इलाज चल रहा है, वे जल्द स्वस्थ हों, इसके लिए भी सरकार हर प्रयास कर रही है। इस आतंकी हमले में किसी ने अपना बेटा खोया, किसी ने अपना भाई और किसी ने अपना जीवनसाथी खोया है। उनमें से कोई बांग्ला बोलता था, कोई कन्नड़ बोलता था, कोई मराठी था, कोई ओड़िया था, कोई गुजराती था, कोई यहां बिहार का लाल था। आज उन सभी की मृत्यु पर कारगिल से कन्याकुमारी तक हमारा दुख एक जैसा है, हमारा आक्रोश एक जैसा है।”

दुश्मनों का भारत की आस्था पर हमला

आगे कहा, “ये हमला सिर्फ निहत्थे पर्यटकों पर नहीं हुआ है, देश के दुश्मनों ने भारत की आस्था पर हमला करने का दुस्साहस किया है। मैं बहुत स्पष्ट शब्दों में कहना चाहता हूं कि जिन्होंने ये हमला किया है, उन आतंकियों को और इस हमले की साजिश रचने वालों को उनकी कल्पना से भी बड़ी सजा मिलेगी। अब आतंकियों की बची-कुची जमीन को भी  मिट्टी में मिलाने का समय आ गया है।”

…पूज्य बापू ने सत्याग्रह के मंत्र का किया विस्तार

राष्ट्रीय पंचायती राज दिवस के मौके पर कार्यक्रम में राष्ट्रपिता महात्मा गांधी को यादकर पीएम मोदी ने कहा कि आज पूरा देश मिथिला से, बिहार से जुड़ा है। आज यहां देश के बिहार के विकास से जुड़े हजारों करोड़ रुपये के प्रोजेक्ट्स का शिलान्यास और लोकार्पण हुआ है। बिजली, रेल, इंफ्रास्ट्रक्चर के इन विभिन्न कार्यों से बिहार में रोजगार के नए मौके बनेंगे।’ ‘बिहार वो धरती है, जहां से पूज्य बापू ने सत्याग्रह के मंत्र का विस्तार किया था। पूज्य बापू के दृढ़ विश्वास था कि जब तक भारत के गांव मजबूत नहीं होंगे, तब तक भारत का तेज विकास नहीं हो पाएगा। देश में पंचायती राज की परिकल्पना के पीछे यही भावना है। बीते दशक में पंचायतों को सशक्त करने के लिए एक के बाद एक कदम उठाए गए हैं। टेक्नोलॉजी के माध्यम से भी पंचायतों को मजबूत किया गया है।’

पंचायतों को इंटरनेट से गया जोड़ा

पीएम ने कहा कि बीते दशकों में दो लाख ज्यादा ग्राम पंचायतों को इंटरनेट से जोड़ा गया है। 5.50 लाख से ज्यादा कॉमन सर्विस सेंटर गांवों में बने हैं। पंचायतों के डिजिटल होने से एक और फायदा हुआ है. अब जीवन/मृत्यु प्रमाण पत्र, भूमि धारण प्रमाण पत्र जैसे कई डॉक्यूमेंट्स आसानी से प्राप्त कर सकते हैं।

गांवों के विकास में लगा सारा पैसा

पीएम ने कहा कि आजादी के कई दशकों बाद आज जहां देश को संसद की नई इमारत मिली, वहीं देश के अंदर 30 हजार नए पंचायत भवन बनाए गए हैं। पंचायतों को पर्याप्त फंड मिला है, ये भी सरकार की प्राथमिकता रही है। बीते दस साल में दो लाख करोड़ रुपये से ज्यादा का फंड पंचायतों को मिला है। ये सारा पैसा गांवों के विकास में लगा है। हमने देखा है कि पंचायतों ने कैसे सामाजिक भागीदारी को सशक्त किया है। बिहार, देश का पहला राज्य था जहां महिलाओं को पंचायत में 50 प्रतिशत आरक्षण की सुविधा दी गई। आज बहुत बड़ी संख्या में गरीब, दलित, महादलित, पिछड़े और अति पिछड़े समाज की बहन-बेटियां बिहार में जन-प्रतिनिधि बनकर सेवाएं दे रही हैं। यही सच्चा सामाजिक न्याय है, यही सच्ची सामाजिक भागीदारी है।

ग्रामीण अर्थव्यवस्था को नई गति मिली

उन्होंने आगे बोलते हुए कहा कि बिहार में चल रहे ‘जीविका दीदी’ कार्यक्रम से अनेक बहनों का जीवन बदला है। आज ही यहां बिहार की बहनों के स्वयं सहायता समूहों को करीब 1,000 करोड़ रुपये की मदद दी गई है। इससे बहनों के आर्थिक सशक्तिकरण को और बल मिलेगा। बीते दशक में ग्रामीण अर्थव्यवस्था को नई गति मिली है। गांवों में गरीबों के घर बने, सड़कें बनीं, पक्के रास्ते बने हैं। गांवों में गैस कनेक्शन पहुंचे, पानी के कनेक्शन पहुंचे, शौचालय बने हैं।

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