आरयू ब्यूरो, लखनऊ। यूपी की पूर्व सीएम मायावती ने लखनऊ में कांशीराम परिनिर्वाण दिवस के मौके पर एक महारैली को संबोधित किया। इस बीच उन्होंने आजम खान के पार्टी में शामिल होने और उनके परिवार के बसपा चीफ से मिलने वाली बात को सिरे से खारिज कर दिया। साथ ही कहा कि मिलना तो बहुत दूर की बात है मैंने कोई गुप्त मुलाकात नहीं की। मायावती ने कहा कि मैं साफ नीयत से मिलती हूं और इस तरह की भ्रामक खबरें फैलाकर विपक्ष जनता को गुमराह कर रहा है। उनके इस बयान के बाद अब समाजवादी पार्टी के वरिष्ठ नेता आजम खान ने इस पर अपना जवाब दिया है।
सपा नेता आजम खान ने कहा कि मैं इसके लिए दुख जाहिर करूंगा। मुझे नहीं पता कि मायावती तक क्या खबर पहुंची है। आजम ने आगे कहा मैं ही नहीं, पूरा देश मायावती का सम्मान करता है। उन्होंने कहा कि वे एक जनसमूह की नायक हैं, हम उनकी इज्जत करते हैं। मीडिया के माध्यम से अगर उन्हें ऐसी खबर मिली है, जिससे दुख पहुंचा हो, मुझे उसके लिए अफसोस है। सपा नेता ने बताया कि मेरे दिल में उनकी अहमियत के लिए कोई कमी नहीं है। वे एक बड़ी नेता हैं। उन्होंने बताया कि जब वे एक जनसभा में रामपुर आईं थीं तो उन्होंने महसूस किया होगा कि मेरा उनके साथ कैसा एहतराम का रिश्ता रहा है।
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आजम ने कहा कि मेरा मायावती के बड़ों से भी रिश्ता रहा है। ऐसा नहीं हो सकता है कि मैं कोई ऐसी बात कहूं या करूं जो दुख का कारण बने। आजम खान ने आगे कहा मुझे अगर मिलना होगा और मिलने के लिए जरूरी नहीं कि सिर्फ राजनीतिक वजहों से मिला जाए, हमारी कुछ इंसानी जरूरतें भी हो सकती हैं।
बसपा मुखिया के बयान पर शुक्रिया भी अदा करते हुए आज आजम खान ने कहा कि मैं शुक्रगुजार हूं उनका उन्होंने कोई ऐसी बात नहीं कही जिससे मेरे दिल को ठेस पहुंचती। फिलहाल आजम खान और मायावती के बयानों के बाद अब स्थिति पूरी तरह साफ हो गई है।
दरअसल, 23 महीनों के बाद आजम खान सीतापुर जेल से रिहा होकर आए है। सपा नेता के जेल से बाहर आने के बाद अटकलें लगाई जा रही थीं कि वे अब बहुजन समाज पार्टी को ज्वाइन करेंगे। इसको लेकर अफवाहें सामने आईं थीं, लेकिन मायावती ने कल की रैली में इन अफवाहों पर विराम लगा दिया है।