आरयू ब्यूरो, लखनऊ/रामपुर। सपा के राष्ट्रीय महासचिव आजम खान, उनके विधायक बेटे अब्दुल्ला और पत्नी पूर्व सांसद डा. तजीन फात्मा पर अदालत ने अब दस हजार रुपये का हर्जाना लगाया है। कोर्ट ने यह कार्रवाई दो जन्म प्रमाण पत्र संबंधी मुकदमे की सुनवाई के दौरान की। गुरुवार को हुई सुनवाई में आजम परिवार से कोई भी कोर्ट में पेश नहीं हुआ। उनके अधिवक्ता भी उपस्थित नहीं हुए। इस पर अदालत ने हर्जाना डालते हुए शुक्रवार को सुनवाई करने और मुलजिम पक्ष को व्यक्तिगत रूप से उपस्थित होने के आदेश दिए हैं। इससे पहले अदालत ने इसी मामले में 15 दिसंबर को भी पांच हजार रुपये का हर्जाना डाला था।
इस मामले की सुनवाई एमपी-एमएलए स्पेशल कोर्ट (मजिस्ट्रेट ट्रायल) में चल रही है। अभियोजन गवाही करा रहा है। हर तारीख पर गवाह आ रहे हैं। गुरुवार को भी मुकदमे की विवेचना करने वाले इंस्पेक्टर किशन अवतार और नरेंद्र त्यागी गवाही के लिए कोर्ट पहुंचे। अभियोजन अधिकारी अमरनाथ तिवारी और भाजपा विधायक के निजी अधिवक्ता संदीप सक्सेना कोर्ट आए। गवाह के बयान हुए, लेकिन जिरह के लिए मुलजिम पक्ष से कोई अधिवक्ता उपस्थित नहीं हुए।
सुनवाई के दौरान आजम खान उनके बेटे या पत्नी में से कोई हाजिर नहीं हुआ। उन्होंने अपनी हाजिरी माफी का प्रार्थना पत्र भेज दिया, जबकि उनके अधिवक्ता ने स्थगन प्रार्थना पत्र देकर समय की मांग की। भाजपा विधायक के अधिवक्ता संदीप सक्सेना ने बताया कि अदालत ने दोनों प्रार्थना पत्र खारिज करते हुए मुलजिम पक्ष पर दस हजार रुपये का हर्जाना डाला है। साथ ही शुक्रवार को फिर सुनवाई नियत करते हुए मुलजिम पक्ष को व्यक्तिगत रूप से कोर्ट में उपस्थित होने के आदेश दिए हैं।
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मालूम हो कि आजम खान के खिलाफ भाजपा विधायक आकाश सक्सेना ने गंज कोतवाली में प्राथमिकी कराई थी, जिसमें भाजपा विधायक ने अब्दुल्ला की अलग-अलग जन्मतिथि से दो जन्म प्रमाण बनवाने का आरोप लगाया है। इसमें आजम खान के अलावा उनके बेटे अब्दुल्ला और पत्नी भी नामजद हैं।