आरयू ब्यूरो, लखनऊ। सुल्तानपुर के ज्वेलरी शॉप में डकैती के आरोपत मंगेश यादव के एनकाउंटर पर उसकी मां व परिवार के अन्य सदस्यों के साथ ही विपक्ष भी लगातार सवाल उठ रहें हैं। वहीं इसपर प्रतिक्रिया देते हुए आजाद समाज पार्टी के मुखिया ने भी निशाना साधा है। शनिवार को चंद्रशेखर आजाद ने योगी सरकार पर बड़ा आरोप लगाते हुए कहा है कि एनकाउंटर सरकारी हत्या का साधन बनकर रह गयाा है।
नगीना से लोकसभा सांसद चंद्रशेखर आजाद ने आज पोस्ट कर कहा कि सुल्तानपुर में “सर्राफा कारोबारी डकैती” के मामले में आरोपी जौनपुर निवासी मंगेश यादव के एनकाउंटर पर आरोपी की मां द्वारा उठाया गया सवाल (पुलिस ने सितंबर की रात पूछताछ के बहाने घर से उठाया और तीसरे दिन गोली मारकर हत्या कर दी) चिंता का विषय है। एनकाउंटर, शासनिक हत्या का साधन बन गया है।
सुप्रीम कोर्ट ले संज्ञान
साथ ही मांग करते हुए सांसन ने कहा कि शासनिक हत्या भारतीय संविधान के अनुच्छेद-21 में प्राप्त “जीवन की आजादी” के मौलिक अधिकार की भी हत्या है। चंद्रशेखर ने कहा कि मैं माननीय सुप्रीम कोर्ट से मामले को संज्ञान में लेकर उच्च स्तरीय न्यायिक जांच कराने का निवेदन करता हूं।
ज्वेलरी शॉप में डकैती के आरोपित मंगेश यादव के एनकाउंटर की मजिस्ट्रियल जांच के आदेश दिए गए हैं। डीएम कृतिका ज्योत्सना ने एसडीएम विदुषी सिंह को जांच सौंपी है। डीएम ने कहा 15 दिन में रिपोर्ट तैयार करके सौंपे। वहीं पीड़ित व्यापारी ने एसटीएफ टीम पर संदेह जताते हुए कहा कि अभी तक दस प्रतिशत गहने की रिकवरी हुई है। उसमें भी सिर्फ चांदी के जेवरात हैं, सोने के आभूषण अभी मुझे नहीं मिले हैं।
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मालूम हो कि 28 अगस्त को हथियारबंद पांच बदमाशों ने चौक बाजार में भरत ज्वैलर्स के यहां डकैती डाला था। बदमाश करोड़ों के गहने लूट ले गए थे। दिनदहाड़े हुई इस घटना ने योगी सरकार की कानून-व्यवस्था पर सवाल खड़े कर दिए थे। इसके बाद पुलिस ने सीसीटीवी फुटेज की पड़ताल की थी। इसमें आरोपितों की पहचान की गई। पुलिस ने तीन आरोपितों को पहले ही हल्की मुठभेड़ में गिरफ्तार कर लिया था, जबकि आरोपित जौनपुर निवासी मंगेश यादव फरार चल रहा था।
इस दौरान पुलिस ने मंगेश यादव पर एक लाख का इनाम घोषित कर दिया। एसटीएफ की मानें तो बीते गुरुवार की तड़के उसे सूचना मिली कि मंगेश यादव मोटरसाइकिल से हनुमानजंग के पास पहुंचा है, तभी एसटीएफ ने घेराबंदी कर दी। पुलिस को देखकर मंगेश ने फायरिंग कर दी। पुलिस की जवाबी कार्रवाई में मंगेश यादव मारा गया। वहीं घरवालों का आरोप है कि एसटीएफ ने दो दिन पहले ही मंगेश को घर से उठाया था और उसके बाद उसकी फर्जी मुठभेड़ में हत्याा कर दी।