आरयू वेब टीम। भारत में बढ़ते कोरोना वायरस के खतरे को देखते बीते दिनों प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने विपक्ष के नेताओं से फोन पर बात की और कोरोना से निपटने के लिए सुझाव मांगे। इसी कड़ी में मंगलवार को कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को पत्र लिखकर पांच सुझाव दिए हैं। साथ इन सुझावों पर तुरंत अमल करने की अपील की है।
सोनिया गांधी ने केंद्र सरकार द्वारा सांसदों की सैलरी में 30 फीसदी की कटौती करने के फैसले का समर्थन किया। इसके अलावा प्रधानमंत्री के सामने पांच सुझाव भी रखे हैं, जिसमें उन्होंने कहा कि सरकार के द्वारा टेलीविजन, प्रिंट और ऑनलाइन मीडिया को दिए गए सभी विज्ञापनों पर रोक लगनी चाहिए। इन्हें दो साल के लिए बंद करना चाहिए, जिससे 1250 करोड़ रुपये प्रति साल की जो बचत होगी उसका इस्तेमाल कोरोना से लड़ने में किया जाना चाहिए।
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2- सरकार के द्वारा सरकारी बिल्डिंग में कंस्ट्रक्शन के काम के लिए जो 20 हजार करोड़ आवंटित किए गए हैं, उन्हें रोक दिया जाए। मुझे विश्वास है कि संसद की मौजूदा बिल्डिंग से काम किया जा सकता है, इस राशि से अस्पताल में सुधार, पीपीई जैसी सुविधा की व्यवस्था की जा सकती है।
3- सांसदों की पेंशन, सैलरी में से जो 30 फीसदी की कटौती की गई है, उसका इस्तेमाल मजदूरों, किसानों, छोटे कारोबारियों को आर्थिक मदद देकर किया जा सकता है।
4- राष्ट्रपति, प्रधानमंत्री, केंद्रीय मंत्री, मुख्यमंत्री, राज्य के मंत्रियों समेत सभी अधिकारियों की विदेश यात्रा पर रोक लगानी चाहिए। ऐसी यात्राओं से बचने वाले पैसे का इस्तेमाल कोरोना से लड़ाई में किया जा सकता है। सोनिया ने कहा कि प्रधानमंत्री और केंद्रीय मंत्रियों की यात्राएं रुकने से 393 करोड़ बच सकते हैं।
5- पीएम केयर्स में जितनी भी राशि मदद के रूप में आई है, उसे प्रधानमंत्री राहत कोष में ट्रांसफर करना चाहिए। इससे पारदर्शिता आएगी, अभी प्रधानमंत्री राहत कोष में मौजूद 3800 करोड़ की राशि पड़ी है। ऐसे में दोनों फंड की राशि को मिलाकर इस्तेमाल किया जा सकता है।
गौरतलब है कि केंद्र सरकार ने सोमवार को कैबिनेट में राष्ट्रपति, राज्यपाल समेत सभी सांसदों की सैलरी या पेंशन में से 30 फीसदी की कटौती का ऐलान किया था। इस राशि का इस्तेमाल कोरोना वायरस के खिलाफ जंग में किया जाएगा, इसके अलावा एमपीएलएडी की राशि को भी इसमें इस्तेमाल किया जाएगा, जिसका कई राजनीतिक दलों ने विरोध किया था।