अखिलेश का योगी सरकार पर हमला, पांच साल की संविदा देने वाले खुद कुछ महीनों की संविदा पर कर रहें काम

अखिलेश यादव
फाइल फोटो।

आरयू ब्‍यूरो, लखनऊ। योगी सरकार की कार्यप्रणाली को लेकर यूपी के पूर्व सीएम अखिलेश यादव ने रविवार को एक बार फिर उन पर हमला बोला है। अखिलेश ने कहा है कि युवाओं को कड़ी परीक्षा पास करने के बावजूद पांच साल की संविदा देने वाले सत्‍ताधीश खुद चंद महीनों की संविदा पर कार्यरत हैं। भाजपा सरकार के साढ़े तीन साल के प्रदर्शन ने जनता को बता दिया है कि वह पांच साल तो क्या पांच दिन भी सरकार चलाने के लायक नहीं है।

अपने बयान में अखिलेश ने हमला जारी रखते हुए अखिलेश ने कहा हे कि अब तक भाजपा सरकार अपनी एक भी जनहित की योजना लागू नहीं कर सकी है। समाजवादी सरकार के कामों पर अपने नाम का ठप्पा लगाने और फीता काटने के अलावा भाजपा सरकार ने कुछ नहीं किया है। सच्‍चाई यह भी है कि भाजपा नेतृत्व इतना कृतघ्न है कि वह समाजवादी सरकार को उसके समय हुए विकासकार्यों का श्रेय भी नहीं देना चाहता है।

मुद्दा विहीन सरकार के कारण…

वहीं अखिलेश ने सवाल करते हुए आज पत्रकारों से कहा है कि सरकार को इधर-उधर की बहानेबाजी करने के बजाय यह बताना होगा कि उत्तर प्रदेश में चारों तरफ अंधेरा क्यों है? मुद्दा विहीन सरकार के कारण राज्य की जनहित की समस्याएं उलझती जा रही हैं।

आरएसएस लोकनायक जयप्रकाश नारायण की स्मृति को संजोने…

इसके साथ ही आज आरएसएस को भी निशाने पर लेते हुए सपा अध्‍यक्ष ने कहा है कि राष्ट्रीय स्वयं सेवक संघ की स्वतंत्रता आंदोलन में रंचमात्र भूमिका नहीं थी, इसलिए आरएसएस लोकनायक जयप्रकाश नारायण की स्मृति को संजोने के लिए बने अंतर्राष्ट्रीय केंद्र को नीलामी पर चढ़ा रही है। इस केंद्र में स्वतंत्रता सेनानियों की स्मृतियां अक्षुण्ण बनाए रखने की योजना थी। भाजपा राज में वहां धूल भी नहीं साफ हुई। केंद्र का अधूरा काम रोक कर भाजपा को क्या मिला? आपातकाल के विरोध का नेतृत्व जयप्रकाश जी ने किया था। दूसरी आजादी के उस संघर्ष पर धूल डालने में भाजपा नेतृत्व भी सहयोगी बन रहा है, आखिर क्यों?

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