आरयू वेब टीम। लोकसभा में नेता प्रतिपक्ष राहुल गांधी ने बुधवार को एक बार फिर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पर निशाना साधा है। साथ ही दावा किया कि प्रधानमंत्री मोदी ने मध्यस्थता संबंधी दावा करने के संदर्भ में अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप का नाम नहीं लिया, क्योंकि उन्हें पता है कि अगर वह ऐसा करेंगे तो ट्रंप सारी सच्चाई सामने रख देंगे।
कांग्रेस नेता ने संसद भवन परिसर में मीडिया से बातचीत में कहा कि सबको मालूम है कि क्या हुआ है। वो कह क्यों रहा है? क्योंकि वो अपनी ट्रेड डील चाहता है, तो वो वहां पे दबेएगा इनको। आप देखिए कैसी ट्रेड डील बनती है। दरअसल राहुल गांधी ने मंगलवार को कहा कि अगर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी में इंदिरा गांधी का ‘‘50 प्रतिशत भी साहस’’ है तो उन्हें सदन में बोलना चाहिए कि भारत-पाकिस्तान के बीच मध्यस्थता का दावा करने वाले अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने असत्य बात कही है।
कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष ने ऑपरेशन सिंदूर पर चर्चा में भाग लेते हुए यह आरोप भी लगाया कि सरकार में राजनीतिक इच्छाशक्ति नहीं होने के कारण विमानों का नुकसान हुआ। उन्होंने कहा, ‘‘अमेरिकी राष्ट्रपति ने 29 बार कहा है कि उन्होंने युद्धविराम कराया है। अगर वह गलत हैं तो प्रधानमंत्री यहां सदन में कहें कि ट्रंप असत्य बोल रहे हैं। अगर प्रधानमंत्री मं इंदिरा गांधी की तरह साहस है तो वह यहां पर कह दें कि ट्रंप झूठे हैं।’
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इससे पहले प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कांग्रेस पर पाकिस्तान की बोली बोलने का आरोप लगाया, साथ ही उन्होंने स्पष्ट किया कि दुनिया के किसी भी नेता ने भारत से ‘ऑपरेशन सिंदूर’ रोकने के लिए नहीं कहा। प्रधानमंत्री मोदी ने कांग्रेस पर हमला करते हुए कहा कि इस अभियान के दौरान पूरी दुनिया का समर्थन मिला, लेकिन जवानों के पराक्रम को मुख्य विपक्षी दल का समर्थन नहीं मिला।