आरयू वेब टीम।
अमेरिकी डॉलर के मुकाबले रुपये ने अब तक के सबसे निचले स्तर को बुधवार को छूआ है। 43 पैसे की गिरावट के साथ अब एक डॉलर के मुकाबले 73.34 के स्तर पर जा पहुंचा है। ये रुपए का सबसे निचला स्तर है। भारतीय मुद्रा के गिरते स्तर के बाद एक बात आज फिर साफ हो गयी कि मंहगाई अभी और बढ़ेगी।
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वहीं, पिछले कारोबारी सत्र की बात करें तो डॉलर के मुकाबले रुपया 43 पैसे टूटकर 72.91 के स्तर पर बंद हुआ था। रुपये में इस गिरावट की मुख्य वजह कच्चे तेल की बढ़ती कीमत को माना जा रहा है। पिछले कुछ दिनों से रुपया लगातार गिरावट के नए रेकॉर्ड बना रहा है। इस समय एशिया में रुपया सबसे खराब प्रदर्शन करने वाली भारतीय मुद्रा बन चुकी है।
इस साल करीब 14 फीसदी टूटा रुपया
इस साल रुपए में करीब 14 फीसदी तक कमजोरी आई है। क्रूड की कीमतें बढ़ने, ट्रेड वार, कैड बढ़ने की आशंका, डॉलर में मजबूती, घरेलू स्तर पर निर्यात घटने और राजनीतिक अस्थिरता जैसे फैक्टर्स की वजह से रुपये पर लगातार दबाव बना हुआ है।
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एक ओर जहां डॉलर के चढ़ते दामों से मंहगाई बढ़ रही है। वहीं गिरते रुपये का असर भारतीय शेयर बाजार पर भी दिख रहा है। बुधवार को दिन की शुरुआत में सेंसेक्स करीब 200 पॉइंट नीचे गिरकर 36300 पर पहुंच गया। वहीं निफ्टी 61 अंकों की गिरावट के साथ 10943 पर रहा।
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