आरयू वेब टीम। उत्तराखंड के उत्तरकाशी जिले में बादल फटने की घटना ने भारी तबाही मचाई है। गंगोत्री धाम और मुखवा के पास स्थित धराली गांव में मंगलवार को बादल फटने के बाद एक नाला उफान पर आ गया, जिससे भारी जन और धन हानि हुई है। इस घटना में अब तक चार लोगों की मौत की पुष्टि हुई है, जबकि 50 से अधिक लोग लापता बताए जा रहे हैं।
बादल फटने के बाद तेज बहाव में नाले का पानी और मलबा निचले इलाकों की ओर आया, जिससे कई घर और दुकानें पूरी तरह तबाह हो गईं। प्रभावित इलाकों में राहत एवं बचाव कार्य रात तक जारी था। इस हादसे के बाद गंगोत्री धाम का जिला मुख्यालय से संपर्क पूरी तरह टूट गया है। हर्षिल क्षेत्र में खीर गाड़ का जलस्तर बढ़ने से धराली कस्बे में बाजार और आवासीय इलाकों को भारी क्षति पहुंची है। रात तक बारिश जारी थीं, जिससे फिर से बादल फटने का खतरा बना हुआ है।
जिलाधिकारी प्रशांत आर्य ने पुष्टि की है कि घटना के तुरंत बाद आपदा प्रबंधन दल, एसडीआरएफ, पुलिस और आर्मी को अलर्ट कर दिया गया है। फिलहाल राहत और बचाव कार्य जारी है। मलबे में दस से 12 मजदूरों के दबे होने की आशंका जताई जा रही है। सड़कों के अवरुद्ध होने और संचार व्यवस्था प्रभावित होने की खबरें भी आ रही हैं।
स्थानीय लोगों के अनुसार, खीर गंगा नदी में अचानक जलस्तर इतना बढ़ गया कि आसपास के 20 से 25 होटल और होमस्टे पूरी तरह से तबाह हो गए। राजेश पंवार नामक ग्रामीण ने बताया कि खीर गढ़ जलग्रहण क्षेत्र में ऊंचाई पर बादल फटा, जिससे यह विनाशकारी बाढ़ आई। पहाड़ी मलबा पूरे गांव में घुस आया, जिससे दहशत का माहौल है और लोग सुरक्षित स्थानों की ओर भागने को मजबूर हो गए हैं।
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गौरतलब है कि गंगोत्री धाम जाने वाले मार्ग पर भी इस आपदा का बड़ा असर पड़ा है। धराली मार्केट, जो इस धाम यात्रा का अहम पड़ाव है, वहां भारी नुकसान की खबर है। सड़कें क्षतिग्रस्त हो गई हैं, जिससे राहत टीमों को मौके तक पहुंचने में कठिनाई हो रही है। स्थानीय प्रशासन ने यात्रियों से धाम यात्रा रोकने और सुरक्षित स्थानों पर ठहरने की अपील की है।