आरयू ब्यूरो, लखनऊ। टीईटी पेपर लीक मामले में एक बार फिर योगी सरकार विपक्ष के निशाने पर आ गई है। इसी क्रम में रविवार को यूपी कांग्रेस मीडिया के चेयरमैन व पूर्व मंत्री नसीमुद्दीन सिद्दीकी ने योगी सरकार पर हमला बोलते हुए कहा कि योगी सरकार के कार्यकाल में करीब 17वीं बार नौजवानों के भविष्य के साथ खिलवाड़ किया गया। रोजगार के नाम पर मुख्यमंत्री योगी होर्डिंग व बैनर लगाकर झूठा प्रोपोगेंडा फैलाते रहे. आज फिर यूपी टीईटी का पेपर आउट हो गया।
कांग्रेस कार्यालय पर प्रेस कांफ्रेंस में नसीमुद्दीन सिद्दीकी ने योगी सरकार के खिलाफ कड़ी प्रतिक्रिया देते हुए भाजपा सरकार को नौजवान विरोधी बताया। साथ ही कहा कि 2017 के विधानसभा चुनाव में भाजपा ने 70 लाख नौकरियों के वादा किया था, लेकिन सरकार आज तक कोई भी भर्ती परीक्षा बिना पेपर लीक सकुशल संपन्न नही करा पाई। यही कारण है कि भाजपा सरकार होर्डिगों में 4.5 लाख नौकरियां देने का दावा करती है।
वहीं कहा कि जब प्रदेश के नौजवान आरटीआई के जरिए सरकार से जानकारी मांगते हैं तो सरकार सूचना देने से मना कर देती है। पूर्व मंत्री सिद्दीकी ने कहा कि भाजपा सरकार के गठन के साथ ही मार्च 2017 के बाद पेपर लीक की शुरुआत हो गई थी। परीक्षा के प्रश्नपत्र आउट होते रहे और भाजपा सरकार नौकरियां देने का झूठा प्रोपेगेंडा फैलाती रही।
नसीमुद्दीन सिद्दीकी ने कहा कि 23 अगस्त 2017 को पुलिस सब इंस्पेक्टर 2704 पदों की भर्ती का ऑनलाइन पेपर हैक हुआ। आगरा के ओम ग्रुप ऑफ इंस्टीट्यूट से सात लोग गिरफ्तार किए गए, हालांकि सरकार ने कोई सबक नही लिया और पेपर लीक गिरोह को रोकने के कोई ठोस इंतजाम नहीं किए गए।
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उन्होंने पेपर लीक मामलों को गिनाते हुए कहा कि फरवरी 2018 में उत्तर प्रदेश पॉवर काॅरपोरेशन की जेई भर्ती परीक्षा का पेपर लीक हुआ था। इस भर्ती का आयोजन स्वयं सरकार की संस्था विद्युत लोक सेवा आयोग ने किया था। कहा कि दोबारा अप्रैल 2018 में फिर से यूपी पुलिस का परीक्षा निरस्त करना पड़ा, क्योंकि गलत पर्चा बांट दिया गया। इससे पता चलता है कि भाजपा की नौजवानों के भविष्य को लेकर कोई रुचि नहीं रही है।
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