आरयू ब्यूरो, लखनऊ। राजधानी लखनऊ के काकोरी थाना क्षेत्र के जागर्स पार्क स्थित पानी की टंकी पर चढ़े परिवार को शनिवार को 24 घंटे बाद उतार लिया गया है। पेट्रोल लेकर आत्मदाह की धमकी दे रहा परिवार हरदोई पुलिस की प्रताड़ना से परेशान था। हरदोई एसपी, डीएम हरदोई व मलिहाबाद सीओ और काकोरी पुलिस के प्रयास से सभी लोगों को टंकी से उतारने मे सफलता मिली।
पानी टंकी पर चढ़े परिवार को 24 घंटे से एसएसपी हरदोई, सीओ संडीला समेत कई अधिकारियों ने मनाने की कोशिश की, लेकिन वो नहीं मान रहे थे, जिसकी वजह से प्रशासन के हाथ पैर-फूले हुए थे। अखिरकार तमाम कोशिशों के बाद आज दोपहर डीएम हरदोई के आश्वासन पर पूरा परिवार नीचे उतरा।
हरदोई सुरसा थाना क्षेत्र के निवासी अधिवक्ता विनय प्रताप सिंह का आरोप है कि गांव के लल्लन सिंह, वीरपाल सिंह उर्फ भोला, संजय सिंह, कृष्णपाल सिंह उर्फ केपी, अमर सिंह व भरत सिंह ने उनकी पैतृक जमीन पर कब्जा कर लिया, जिसका विरोध करने पर जनवरी 2016 में उनके भाई विवेक प्रताप सिंह को अगवा कर लिया।
यह भी पढ़ें- दबंगों से परेशान पति-पत्नी ने तीन मासूमों के साथ विधानसभा के सामने की आत्मदाह की कोशिश
मुकदमा दर्ज होने के बाद भी थानेे की पुलिस ने कोई कार्रवाई नहीं की। वहीं आरोपितों के हौसले इतने बुलंद हो की परिवार को गांव छोडऩे पर मजबूर होना पड़ा। पुलिस से इंसाफ न मिलने पर परेशान पीड़ित ने टंकी पर चढ़कर खुदकुशी करने का फैसला किया।
विनय के साथ उनकी पत्नी राधा के अलावा भाई अजय प्रताप सिंह, अजय की पत्नी माला, उसका नौ साल का बेटा शिव सिंह, बहन राजवती सिंह, बेटी पूनम मौजूद थे। अधिवक्ता का कहना था कि यदि उन्हें न्याय नहीं मिला तो पूरा परिवार पेट्रोल डालकर आत्मदाह कर लेगा।
विनय और उसके परिवारीजनों ने पुलिस-प्रशासन से अपनी मांग पूरी न होने तक टंकी से नीचे न उतरने की बात कही। उनका कहना था कि आरोपियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई हो। पुलिस और दबंगों की प्रताड़ना व भाई के गायब होने पर परिवारीजनों को 50 लाख रुपये मुआवजा दिया जाए। परिवारीजनों के एक सदस्य को सरकारी नौकरी दी जाए और मामले की सीबीआइ जांच की जाए।
यह भी पढ़ें- बेटी के अपहरण के पांच महीने बाद भी कार्रवाई नहीं होने से क्षुब्द्ध परिवार ने किया विधानसभा के बाहर आत्मदाह का प्रयास
घटना की जानकारी लगते ही हरदोई के एएसपी ज्ञानंजय सिंह और सीओ संडीला अमित कुमार श्रीवास्तव भी उन्हें मनाने काकोरी पहुंचे थे। अधिकारियों ने हरदोई के डीएम से फोन पर बात कराने का प्रयास किया, लेकिन अधिवक्ता सिर्फ मुख्यमंत्री या डीजीपी से बात करने की बात पर अड़े रहे। शुक्रवार रात तक पूरा परिवार पानी की टंकी पर ही मौजूद रहा। शनिवार दोपहर एक बजे करीब हरदोई डीएम पुलकित खरे और एसपी हरदोई और बार असोसिएशन अध्यक्ष के आश्वासन पर परिवार नीचे उतरा। नीचे उतरने के बाद वकील समेत पूरे परिवार का मेडिकल चेकअप किया गया।