आरयू वेब टीम। डॉलर के मुकाबले रुपए का दाम लगातार गिरता जा रहा, विपक्ष इसको लेकर मोदी सरकार पर हमलावर है। वहीं इसके बचाव में वित्त मंत्री ने एक अजीब तर्क दिया है, जो शायद कभी भी नहीं दिया गया था। दरअसल वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण इन दिनों अमेरिका के दौरे पर हैं। वित्त मंत्री ने रविवार को वाशिंगटन डीसी में पत्रकारों से बातचीत की। इस दौरान भारत की मौजूदा आर्थिक स्थिति पर उन्होंने कहा कि रुपया कमजोर नहीं हो रहा, हमें इसे ऐसे देखना चाहिए कि डॉलर मजबूत हो रहा है, लेकिन दूसरी मार्केट करेंसी देखें तो रुपया डॉलर की तुलना में काफी अच्छा कर रहा है।
निर्मला सीतारमण ने कहा कि मैक्रोइकॉनॉमिक्स के फंडामेंटल अच्छे हैं और विदेशी मुद्रा भंडार अच्छा है। हम एक आरामदायक स्थिति में हैं और इसलिए मैं बार-बार मुद्रास्फीति को एक प्रबंधनीय स्तर पर दोहराती रहती हूं। हम इसे और नीचे लाने के प्रयास कर रहे हैं। “उन्नत देशों को अपने राजनीतिक और आर्थिक निर्णयों के वैश्विक फैलाव की जिम्मेदारी लेनी चाहिए। वहीं ” उनके इस बयान पर पत्रकार ने उनसे सवाल पूछा, जिस पर निर्मला सीतारमण ने कहा कि मैंने बैठकों के अंदर ये कहा था और कई अन्य थे, संयोग से सभी दक्षिण देशों से।
इसी के साथ केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने G-20 पर भी अपनी बात रखते हुए कहा, “कई सदस्यों ने सुझाव दिया है कि G-20 के दौरान हमें यह दिखाना चाहिए कि हमने अपनी डिजिटल उपलब्धियों में क्या किया है, जैसे आधार या अन्य डिजिटल एप्लिकेशन देश में कैसे फैल गए हैं।”
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वहीं क्रिप्टोकरेंसी के बारे में बात करते हुए सीतारमण ने G20 सदस्यों के लिए तकनीकी रूप से संचालित नियामक ढांचे पर प्रकाश डाला। निर्मला सीतारमण ने कहा, “हम क्रिप्टोकरेंसी से संबंधित मामलों को G-20 की मेज पर लाना चाहते हैं, ताकि सदस्य इस पर चर्चा कर सकें और एक ढांचे या एसओपी पर पहुंच सकें, ताकि वैश्विक स्तर पर देशों में तकनीकी रूप से संचालित नियामक ढांचा बन सके।”