आरयू ब्यूरो, लखनऊ। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के तीन दिवसीय रूस दौरे से लौटने के बाद बुधवार को यूपी के पूर्व सीएम अखिलेश यादव ने दौरे पर सवाल उठाएं हैं। सपा अध्यक्ष ने आज अपने एक बयान में सीएम पर तंज कसते हुए कहा कि खुशी की बात है कि मुख्यमंत्री रूस के सुदूर पूर्वी क्षेत्रों में जाकर कृषि एवं खाद्य प्रसंस्करण के क्षेत्र में परस्पर सहयोग की बात कर आए, पर अच्छा होता उनकी नजर उत्तर प्रदेश में विकास की तमाम संभावनाओं पर भी पड़ जाती। उन्हें शायद दूर के ढोल सुहावने लगते हैं।
सपा अध्यक्ष ने सवाल उठाते हुए कहा कि सीएम योगी की रूस यात्रा सार्थक होती अगर मुख्यमंत्री मंडियों को विकसित करने में रूस का सहयोग लेते। रूस की किसी कंपनी को यह काम देने से एक्सप्रेस-वे के पास के स्थलों का विकास और सौंदर्यीकरण दोनों हो जाता। यहां तो उल्टा काम यह हुआ है कि एक्सप्रेस-वे टोल टैक्स का काम महाराष्ट्र के लोगों को दे दिया गया है। उनकी रूचि टोल टैक्स वसूली में ज्यादा है, यात्रा की सुरक्षा एवं सुविधा विस्तार में नहीं है।
सोवियत रूस में नदी के किनारे कहीं भ्रमण किया होगा तो…
अखिलेश ने आगे कहा कि मुख्यमंत्री ने सोवियत रूस में नदी के किनारे कहीं भ्रमण किया होगा तो वहां से कुछ सीख लेकर गोमती नदी की सफाई और उसके तटों के सौंदर्यीकरण का काम बेहतर हो सकता है। साथ ही रूस के सहयोग से आलू से अन्य उत्पाद बनाने का प्लांट लगाने की बात होती तो अच्छा होता।
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योगी सरकार की कार्य प्रणाली पर सवाल उठाते हुए अखिलेश ने कहा कि प्रदेश में उनकी सरकार का अब ढाई साल से भी कम समय रह गया है, इसमें अपनी जनहित की एक योजना भी वे कार्यान्वित नहीं कर सके हैं। समाजवादी सरकार ने जो योजनाएं लागू की थीं उन्हें ही पूरा कर लेते तो प्रदेश की विकास यात्रा में उनका भी थोड़ा बहुत योगदान जुड़ जाता।