आरयू वेब टीम। धार्मिक भावनाओं को ठेस पहुंचाने के मामले में स्टैंड अप कॉमेडियन मुनव्वर फारूकी को सुप्रीम कोर्ट से बड़ी राहत मिली है। देश की सबसे बड़ी अदालत ने शुक्रवार को कॉमेडियन मुनव्वर फारूकी को अंतरिम जमानत दे दी। साथ ही कोर्ट ने मुनव्वर फारूकी के खिलाफ जारी इलाहाबाद हाई कोर्ट के प्रोडक्शन वारंट पर भी रोक लगा दी है।
इसके अलावा कोर्ट ने मुनव्वर फारूकी की याचिका पर नोटिस जारी किया है। न्यायमूर्ति आर एफ नरीमन और न्यायमूर्ति बी आर गवई की पीठ ने ये फैसला दिया। हिंदू देवी-देवताओं को लेकर आपत्तिजनक टिप्पणियों के मामले में गुजरात के स्टैंड अप कॉमेडियन मुनव्वर फारूकी की जमानत याचिका को मध्य प्रदेश हाई कोर्ट ने खारिज कर दिया था, जिसको उन्होंने सुप्रीम कोर्ट में चुनौती दी थी। साथ ही याचिका में मुनव्वर फारूकी ने धार्मिक भावनाओं को भड़काने के आरोप में कई राज्यों में दर्ज मामलों को एक साथ जोड़ने की मांग की थी।
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गौरतलब है कि मध्य प्रदेश से भाजपा विधायक मालिनी लक्ष्मण सिंह गौड़ के बेटे एकलव्य सिंह गौड़ ने फारूकी और अन्य के खिलाफ शिकायत दर्ज कराई थी। अपनी शिकायत में विधायक के बेटे ने कहा था कि फारूकी ने नए साल पर इंदौर में एक कैफे में कॉमेडी शो के दौरान हिंदू देवी-देवताओं और केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह के खिलाफ आपत्तिजनक टिप्पणी की थी। शिकायत के बाद मुनव्वर फारूकी को एक जनवरी को गिरफ्तार किया गया था।
मध्य प्रदेश हाई कोर्ट ने 28 जनवरी को अपने आदेश में फारूकी को जमानत देने से इनकार करते हुए कहा कि सौहार्द्र को बढ़ावा देने उनका संवैधानिक कर्तव्य है। मामले में कोर्ट ने एक अन्य आरोपी की जमानत याचिका को भी खारिज कर दिया था।