डेरा सच्चा प्रमुख गुरमीत की बढ़ेंगी मुश्किलें, पंजाब सरकार ने बेअदबी मामलों में केस चलाने की दी मंजूरी

राम रहीम सिंह
राम रहीम सिंह। (फाइल फोटो)

आरयू वेब टीम। जेल में बंद गुरमीत राम रहीम की मुश्किल अब बढ़ने वाली है, क्‍योंकि उसके खिलाफ नौ साल पुरानी फाइल खुल गई है। 2015 के बेअदबी मामलों में राम रहीम के खिलाफ केस दर्ज करने को लेकर पंजाब सरकार ने अपनी मंजूरी दे दी है। पंजाब की भगवंत मान सरकार ने मंगलवार को बेअदबी से जुड़े तीन मामलों में केस चलाने की इजाजत दी। दरअसल ये फैसला सुप्रीम कोर्ट ने बेअदबी मामलों में चार दिन पहले ही स्टे हटाने के बाद लिया गया है।

साल 2015 जुलाई में राम रहीम पर बुर्ज जवाहर सिंह वाला में गुरु ग्रंथ साहिब की पवित्र बीड़ चोरी होने, और कुछ दिनों के पश्चात गुरु ग्रंथ साहिब के अंग फाड़कर गलियों में फेंकने और अक्टूबर 2015 में बहिबल कलां में  गुरु ग्रंथ साहिब के अंग फाड़े जाने के बाद बरगाड़ी में प्रदर्शनकारियों पर गोली चलाने के मुकदमे चलेंगे। सुप्रीम कोर्ट ने तीन दिन पहले सिरसा डेरा प्रमुख राम रहीम के खिलाफ केस चलाने की अनुमति दे दी थी। लगभग ढाई वर्ष पहले पुलिस ने सिरसा डेरा प्रमुख के खिलाफ केस दर्ज करने की अनुमति मांगी थी, लेकिन हाई कोर्ट ने तीनों मामलों पर रोक लगा दी थी।

इस आदेश को पंजाब की भगवंत मान सरकार ने सुप्रीम कोर्ट में चुनौती दी थी। इसके बाद सुप्रीम कोर्ट ने हाई कोर्ट की ओर से लगाई गई इस रोक को हटा लिया। इसके बाद राम रहीम को नोटिस जारी कर चार हफ्ते में जवाब मांगा है। सुप्रीम कोर्ट के आदेश के बाद अब राम रहीम के खिलाफ निचली अदालत में ट्रायल शुरू हो सकेगा।। पंजाब सरकार ने डेरा सच्चा समिति के तीन सदस्यों प्रदीप क्लेर, हर्ष धुरी और संदीप बरेटा के खिलाफ भी मुकदमा चलाने की मंजूरी दी है।

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पंजाब के फरीदकोट जिले में जून और अक्टूबर, 2015 के बीच गुरु ग्रंथ साहिब की बेअदबी की तीन कथित घटनाएं हुई थीं और स्थानीय पुलिस थाने में भारतीय दंड संहिता (आईपीसी) के प्रासंगिक प्रावधानों के तहत दो जून 2015 को पहली प्राथमिकी दर्ज की गई थी। इनमें पहली घटना बुर्ज जवाहर सिंह वाला गांव स्थित गुरुद्वारा सिंह साहिब के एक ग्रंथी ने आरोप लगाया था कि गुरु ग्रंथ साहिब के पन्ने जमीन पर पड़े हुए मिले थे।

वहीं बेअदबी की दूसरी घटना कथित तौर पर 24-25 सितंबर, 2015 को घटी, जिसमें बरगारी में शिरोमणि गुरुद्वारा प्रबंधक समिति (एसजीपीसी) द्वारा प्रबंधित गुरुद्वारे के बाहर पवित्र गुरु ग्रंथ साहिब और सिख धर्मगुरुओं के बारे में अपमानजनक टिप्पणियों वाले पोस्टर चिपकाए गए थे। इसके बाद फरीदकोट के बाजाखाना पुलिस थाने में एक प्राथमिकी दर्ज की गई। साथ ही तीसरी घटना 12 अक्टूबर, 2015 को जिले के बरगारी गांव में स्थित गुरुद्वारे के पास पवित्र गुरु ग्रंथ साहिब के 112 फटे पन्नों की बरामदगी से संबंधित थी, जिसके लिए बाजाखाना पुलिस थाने में एक प्राथमिकी दर्ज की गई थी।

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