आरयू ब्यूरो, लखनऊ। इजराइल और फिलस्तीनी के संगठन हमास के बीच चल रहे युद्ध का असर भारत में भी देखने को मिल रहा है। इस बीच शुक्रवार को लखनऊ में इजराइल के विरोध में प्रदर्शन किए गए। युद्ध में फिलिस्तीन में मारे गए लोगों के लिए लखनऊ के आसिफी मस्जिद में जुम्मे की नमाज के बाद दुआ पढ़ी गई लोगों ने नारेबाजी की और इजराइल को जुल्मी देश बताया।
वहीं जुमे की नमाज के दौरान शिया धर्म गुरु मौलाना कल्बे जवाद ने फिलिस्तीन के समर्थन में दुआ की। साथ ही कल्बे जवाद ने हमास की तुलना भगत सिंह, चंद्रशेखर आजाद, रामप्रसाद बिस्मिल, अशफाक उल्ला खान जैसे देशभक्तों से कर दी। उन्होंने कहा कि अंग्रेजो के लिए यह आतंकी थे उसी तरह से हमास को आतंकी बताया जा रहा है वह असल में देशभक्त हैं।
क्या दो साल के बच्चे हमास के मेंबर थे?
मौलाना कल्बे जव्वाद ने कहा कि, ‘इसराइल पूरा एक मुल्क है, जिसके पास लाखों की फौज है। हजारों टैंक हैं। उनके पास बम है और फिलिस्तीन में चंद पब्लिक के लोग हैं। इनका यहां मुकाबला कहां हो रहा है। फिलिस्तीन के लोग जान दे रहे हैं। इस युद्ध में हमास के लोग कहां मारे गए हैं। क्या दो साल के बच्चे हमास के मेंबर थे? एक भी हमास वाला नहीं मारा है सब पब्लिक मरी है। बमबारी चाहे इधर से हो या उधर से हो रही हो उसको बंद होना चाहिए। बेगुनाह लोगों की जाने जा रही है।
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आगे कहा कि गाजा पट्टी वालों का पानी बंद कर दिया गया है। बिजली बंद कर दी गई है। इजरायल ने 30 साल तक पानी और दवा बंद रखा था तो क्या वह पीछे हट गए थे। वह फिर खड़े हो गए। आज उनको मार देंगे कल वह फिर खड़े हो जाएंगे।’ शिया धर्म गुरु ने आगे कहा कि, ‘इजराइल को अगर अमन चैन से रहना है तो उन्हें फिलिस्तीनियों के अधिकार देने होंगे।
इतना ही नही पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेई ने भी इजराइल को आक्रमणकारी देश कहा था।’ उन्होंने कहा कि, ‘सबसे पहले हमारे पीएम मोदी जंग बंद करवाए, उसके बाद टेबल टॉक के जरिए बात करें। जो हक है अधिकार है, वह फिलिस्तीनियों को मिलना चाहिए।