आरयू ब्यूरो, लखनऊ। बसपा सुप्रीमो मायावती ने गुरुवार को निकाय चुनाव में मिली हार की समीक्षा बैठक की। मायावती के साथ बैठक में बसपा जोनल कोऑर्डिनेटर के साथ ही मुख्य मंडल प्रभारी, जिला बाममसेफ संयोजक और सभी जिलाध्यक्ष शामिल हुए। जिसमें मायावती ने 2024 में होने वाले आगामी चुनावों को लेकर रणनीति को धार दी। उन्होंने कार्यकताओं को संबोधित करते हुए कहा कि बहुजन समाज पार्टी लोकसभा चुनाव अपने दम पर लड़ेगी। उन्होंने किसी भी पार्टी से गठबंधन की बात से इनकार किया है।
साथ ही बैठक में बसपा नेताओं व कार्यकर्ताओं को मंत्र देते हुए मायावती ने कहा कि ‘वोट हमारा राज तुम्हारा’ कि जो मौजूदा स्थिति है। यह अब आगे नहीं चलेगा। इसके खिलाफ बसपा गांव-गांव अभियान चलाएगी। बसपा प्रमुख ने स्टेट और फिर उसके बाद मंडल व जिलेवार समीक्षा की रिपोर्ट का फीडबैक लिया। उन्होंने कार्यकर्ताओं से यूपी को बीजेपी मुक्त बनाने का संकल्प दिलाया।
सरकारी मशीनरी का दुरुपयोग…
यूपी की पूर्व सीएम ने कहा कि भाजपा चुनाव जीतने के लिए सरकारी मशीनरी का दुरुपयोग कर रही। यह बेहद की चिंताजनक है। इसका जवाब लोकसभा चुनाव में जनता देगी। देश में बेरोजगारी महंगाई और गलत सरकारी नीति से जनता त्रस्त है। बसपा सुप्रीमो ने कहा कि सत्ताधारी भाजपा चाहे जो भी दावा करें, वास्तविकता यह है कि ओबीसी आरक्षण महिला सीटों के आरक्षण के साथ-साथ शुरू से अंत तक इस चुनाव को हर प्रकार से मैनेज और मैनिपुलेशन करने का प्रयास किया गया।
ईवीएम की जगह बैलेट पेपर से होता चुनाव
साथ ही कहा कि बसपा दूसरी पार्टियों की तरह बड़े-बड़े उद्योग और पूंजीपति और धन्नासेठों के इशारे पर काम नहीं करती है। उन्होंने एक बार फिर कहा कि मेयर का चुनाव भी यदि ईवीएम की जगह बैलेट पेपर से होता, तो नतीजे कुछ और होते। आगरा और सहारनपुर के मेयर चुनाव में बसपा को घिनौना षड्यंत्र करके हरा दिया गया। पार्टी कार्यकर्ता चुनावी खर्च के लिए पार्टी को आर्थिक रूप से मजबूत रखने को कभी ना भूलें। मायावती ने चुनाव आयोग से खासकर सरकारी मशीनरी के दुरुपयोग को संविधान व कानून के खिलाफ धर्म का राजनीति में बढ़ते प्रभाव पर प्रभावी अंकुश लगाने की अपील की।
जनाधार बढ़ाना एक सतत् प्रक्रिया
बसपा प्रमुख ने जमीनी स्तर पर मेहनती, ईमानदार व मिशनरी लोगों को बढ़ाने का निर्देश देते हुए कहा कि निकाय चुनाव में लोगों की आपसी गुटबाजी, रंजिश व मनमुटाव तथा चुनाव में टिकट नही मिल पाने आदि के कारण हालात थोड़े भिन्न जरूर रहते हैं, जिसको ध्यान में रखकर ही आगे संगठन के मजबूती की कारर्वाई करने की जरूरत है। ऐसे हालात में किसी को भी कानून अपने हांथ में नहीं लेने का सख्त निर्देश देते हुए उन्होंने कहा कि पार्टी के जनाधार को बढ़ाना एक सतत् प्रक्रिया है जिसका सामूहिक प्रयास पूरी मुस्तैदी व जी-जान के साथ लगातार जारी रहना चाहिए।