आरयू वेब टीम। महाराष्ट्र में राजनीतिक उठापटक शुक्रवार चौथे दिन भी जारी है। एकनाथ शिंदे के नेतृत्व में शिवसेना के बागी विधायक आज भी गुवाहाटी में डटे हुए हैं। बागी विधायकों की संख्या अब 50 के आसपास हो गई है जिसमें सिर्फ शिवसेना के विधायक 38 बताए जा रहे हैं। दूसरी ओर शिवसेना को एकजुट रखने की कोशिश लगातार उद्धव ठाकरे की ओर से की जा रही है। आज इसी कड़ी में उद्धव ठाकरे ने शिवसेना के नेताओं की एक बड़ी बैठक बुलाई थी।
इस बैठक में शिवसेना कार्यकर्ताओं को संबोधित करते हुए उद्धव ठाकरे ने बड़ी बात कही है। उद्धव ठाकरे ने साफ तौर पर कहा है कि मुझे सत्ता का मोह नहीं है। उन्होंने कहा कि मैंने सीएम आवास से छोड़ा है, लड़ाई नहीं। नेताओं को संबोधित करते हुए ठाकरे ने कहा कि अभी भी लड़ने की इच्छाशक्ति है। बागी विधायकों पर हमला करते हुए उन्होंने कहा कि यह बगावत जिस तरीके से हुई है, यह ठीक नहीं है। उन्होंने जो किया है वह ठीक नहीं है।
पिछले सात-आठ महीने से मैं बीमार था। कुछ लोगों को लग रहा था कि मैं ठीक नहीं होउंगा। कुछ लोग मेरे ठीक नहीं होने की दुआ कर रहे थे। उन्होंने साफ तौर पर कहा कि मुझे ऐसे लोगों की परवाह नहीं है। बागी विधायकों के बारे में बातचीत करते हुए उन्होंने कहा कि शिवसेना और ठाकरे के नाम के बिना कुछ नहीं कर सकते हैं। इसी बैठक में उद्धव ठाकरे के बेटे और महाराष्ट्र सरकार में मंत्री आदित्य ठाकरे ने कहा कि कुछ लोगों ने पैसों के लिए बगावत कर लिया।
शिवसेना के मंत्री एकनाथ शिंदे की बगावत के बीच पार्टी के सांसद संजय राउत ने कहा कि महाराष्ट्र विधानसभा में पार्टी का संख्याबल कम हुआ है, हालांकि उन्होंने उम्मीद जताई की बागी विधायक सदन में शक्ति परीक्षण के दौरान राज्य की महा विकास आघाड़ी (एमवीए) सरकार को समर्थन देंगे। राउत ने कहा कि संख्या किसी भी वक्त बदल सकती है। उन्होंने कहा कि मुंबई लौटने के बाद ही बागी विधायकों की पार्टी के प्रति वफादारी की असली परीक्षा होगी।
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शिवसेना नेता ने राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी प्रमुख शरद पवार को ‘‘धमकाने’’ के लिए भाजपा के नेता नारायण राणे पर भी निशाना साधा। हालांकि इस दौरान उन्होंने किसी का नाम नहीं लिया। शिवसेना से बगावत करने वाले शिंदे पार्टी के 37विधायकों तथा नौ निर्दलीय विधायकों क साथ फिलहाल गुवाहाटी के एक होटल में हैं। राउत ने पत्रकारों से बातचीत में स्वीकार किया कि बगावत के कारण विधानसभा में पार्टी का संख्याबल कम हुआ है।