मुजफ्फरनगर: CAA प्रदर्शन में घायल व मृतक के परिजनों से मुलाकात कर प्रियंका ने कहा, न्याय दिलाने के लिए संघर्ष करेगी कांग्रेस

मुजफ्फरनगर
घायल रुकैया परवीन व उसके परिवार से बात करतीं प्रियंका गांधी।

आरयू ब्यूरो, लखनऊ/मुजफ्फरपुर। नागरिकता संशोधन कानून के खिलाफ हो रहे हिंसक प्रदर्शनों में मारे गए और घायल हुए लोगों के परिजनों से मुलाकात करने के लिए शनिवार को कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी उत्तर प्रदेश के मुजफ्फरनगर पहुंचीं। यहां प्रियंका कांग्रेसी नेताओं के साथ 20 दिसंबर को हिंसक उपद्रव के दौरान गोली लगने से मारे गए भूरा उर्फ नूर मोहम्मद के घर पहुंचीं। यहां प्रियंका ने मृतक नूरा के परिजनों से बातचीत की। उन्होंने कहा कि कांग्रेस उन्हें न्याय दिलाने के लिए संघर्ष करेगी।

प्रियंका ने पहले एक स्थानीय मदरसे के मौलाना से मुलाकात की। इसके बाद उन्होंने कुछ अन्य प्रभावित लोगों से मिलते हुए रुकैया परवीन नामक युवती से मुलाकात की। रुकैया के परिवार का आरोप है कि पुलिस उनके घर में घुसी और उसने तोड़फोड़ की एवं बहुत सारा समान ले गयी। इस दौरान मीडिया से बात करते हुए प्रियंका ने इस लड़की का उल्लेख कर कहा कि उसकी शादी होने वाली थी। पुलिस ने इसके घर में घुसकर समान तोड़फोड़ दिया। लड़की के सिर पर चोट लगी है।

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प्रियंका ने कहा कि, ‘मैंने यहां मौलाना असद हुसैनी से मुलाकात की। उन्हें पुलिस ने बेरहमी से पीटा था। पुलिस ने मदरसे के छात्रों, जिनमें नाबालिग भी थे, को बिना किसी वजह के हिरासत में ले लिया। उनमें से कुछ लोगों को छोड़ दिया गया है और कुछ लोग अभी भी पुलिस कस्टडी में हैं।’

उन्होंने कहा, जहां-जहां अन्याय होगा वहां हम खड़े होंगे। हम हर संभव मदद करेंगे। वहीं कांग्रेस महासचिव ने कहा, मैंने हाल ही में उत्तर प्रदेश की राज्यपाल को चिट्ठी लिखी, जिसमें कई मामलों का विवरण है। हमने उन्हें बताया कि पुलिस ने किस तरह लोगों को बेवजह मारा-पीटा है। उन्होंने कहा, अगर किसी ने कुछ गलत किया है तो पुलिस कार्रवाई करे। इसमें किसी को कोई दिक्कत नहीं है, लेकिन पुलिस घरों में घुसकर मारपीट कर रही है। पुलिस का काम न्याय दिलाना है, लेकिन यहां तो उलटा हुआ है।

बताते चलें कि पिछले साल 20 दिसंबर को उत्तर प्रदेश के कई शहरों में नागरिकता संशोधन कानून के विरोध में प्रदर्शन हुए थे। इन प्रदर्शनों ने हिंसक रूप ले लिया था। इस दौरान राज्य में 21 लोगों की मौत हुई थी। पुलिसकर्मियों समेत सैकड़ों प्रदर्शनकारी घायल हुए। मुजफ्फरनगर के नूर मोहम्मद की भी इस हिंसक प्रदर्शन में मौत हो गई थी।

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