आरयू ब्यूरो,
लखनऊ। उत्तर प्रदेश में भारतीय जनता पार्टी के सत्ता में आने के बाद से भवनों से लेकर बसों तक का भगवाकरण शुरू हो गया। मुख्यमंत्री कार्यालय के साथ ही अन्य भवनों के बाद अब राज्य हज समिति कार्यालय पर भी भगवा रंग चढ़ा दिया गया है। जिसके बाद मुस्लिम संगठनों में रोष है। वहीं पहले से हरे रंग से रंगी इसकी बाउंड्री वॉल को भगवा रंग में देख विपक्षी दलों में बयानबाजी तेज हो गई है।
मुख्यमंत्री आवास, सचिवालय को केसरिया रंग में रंगने के बाद लखनऊ में हज समिति के कार्यालय की बाहरी दीवारों को भी अब भगवा रंग में रंग दिया गया है। इससे पहले हज समिति के कार्यालय की बाहरी दीवारों पर हरा तथा सफेद रंग लगा था। अब उसके ऊपर भगवा रंग चढ़ गया है। वहीं राजनैतिक पार्टियों ने सरकार पर जानबूझकर एक धर्म विशेष की भावनाओं को उकसाने का आरोप लगाया है।
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वहीं अपनी पार्टी के बचाव में आए हज राज्य मंत्री मोहसिन रजा ने कहा कि केसरिया रंग ऊर्जा का प्रतीक है। अब भवन अच्छा दिख रहा है। ऐसे मामलों को तूल देने की कोई जरूरत नहीं है। विपक्ष के पास कोई बड़ा मुद्दा नहीं है, जिसके कारण वह ऐसे मुद्दों को उछाल रहा है।
समाजवादी पार्टी के प्रवक्ता सुनील सिंह साजन ने कहा कि सरकार अपनी नाकामी को छुपाने के लिए अब रंगों का खेल खेल रही है। अभी तक तो आश्रम भगवा रंग में होते थे, ऑफिस की बिल्डिंग नहीं। उन्होंने कहा कि अधिकारी भी चापलूसी में लगे हैं। यह तो तय है कि रंगा सियार ज्यादा दिन नहीं छुप पाता है।
वहीं मोहसिन रजा के बयान पर साजन ने हमला करते हुए कहा कि वह सिर्फ चापलूसी व अपनी कुर्सी बचाने की खातिर इस तरह की बात कर रहे हैं। मोहसिन रजा को चिंता है कि किसी तरह से कुर्सी बची रहे। साजन ने कहा कि अगर विपक्ष के पास मुद्दा नहीं है, तो सरकार के पास कौन सा मुद्दा है। क्या यह विकास हो रहा है।
बीजेपी की सत्ता में हर चीज पर चढ़ा भगवा रंग
कई प्रशासनिक भवनों के साथ बस से लेकर सोफे, चादर सड़कों के साइन बोर्ड और अब योगी सरकार ने हज समिति के कार्यालय की दीवार को भी भगवा रंगवा दिया है। योगी सरकार के इस कदम पर विपक्षी नेताओं और उलेमाओं ने विरोध किया है। उनका कहना है कि सरकार इस मामले में भी मजहबी जज्बात कुरेदने में जुटी है।
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