आरयू वेब टीम। शराब नीति मामले में आम आदमी पार्टी के नेता संजय सिंह को जमानत मिल गई है। जिन लोगों को गिरफ्तार किया गया है, उनमें ये पहली जमानत है। सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि छह महीने से ज्यादा कस्टडी में रखा गया। पर्याप्त सबूत उनके खिलाफ नहीं है। ईडी ने कहा कि जमानत पर हमें कोई ऐतराज नहीं है। कोर्ट ने कहा कि जमानत की शर्तें निचली अदालत से तय होंगी।
आप नेता संजय सिंह, जिन्हें प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने पिछले अक्टूबर में दिल्ली शराब नीति घोटाले से जुड़े कथित मनी लॉन्ड्रिंग मामले में गिरफ्तार किया था, हालांकि अदालत ने कहा कि जमानत को मिसाल नहीं माना जा सकता, जबकि जांच एजेंसी ने कहा कि उसे सिंह को जमानत देने पर कोई आपत्ति नहीं है। कोर्ट ने कहा कि वो राजनीतिक व्यक्ति है और राजनीतिक गतिविधियों में हिस्सा लेने पर कोई रोक नहीं रहेगी।
न्यायमूर्ति संजीव खन्ना, न्यायमूर्ति दीपांकर दत्ता और न्यायमूर्ति पीबी वराले की पीठ ने स्पष्ट किया कि सिंह जमानत की अवधि के दौरान राजनीतिक गतिविधियों में शामिल होने के हकदार होंगे। पीठ ने ये भी कहा कि आदेश को नजीर नहीं माना जाएगा। अतिरिक्त सॉलिसिटर जनरल एसवी राजू ने दोपहर दो बजे ईडी की ओर से यह रियायत दी। पूर्वाह्न सत्र में सुनवाई के दौरान पीठ ने एसवी राजू से इस बारे में निर्देश प्राप्त करने को कहा था कि क्या सिंह को और हिरासत में रखने की जरूरत है।
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दोपहर दो बजे जब पीठ दोबारा बैठी तो राजू ने कहा कि गुण-दोष पर जाए बिना, मैं जमानत मामले में अजीबोगरीब तथ्यों पर रियायत दूंगा। पीठ ने सिंह की ओर से वरिष्ठ वकील डॉ. अभिषेक मनु सिंघवी की दलीलें सुनने के बाद ईडी का रुख पूछा और कहा कि अनुमोदक-दिनेश अरोड़ा द्वारा दोषमुक्ति संबंधी बयान दिए गए थे और कोई पैसा बरामद नहीं किया गया था। पीठ ने सुनवाई के दौरान कहा कि कुछ भी बरामद नहीं हुआ है, कोई निशान नहीं है।