आरयू ब्यूरो, लखनऊ। यूपी के कानपुर जू में बर्ड फ्लू के मामले सामने आने के बाद प्रशासन द्वारा जू के सभी पक्षियों को मारने के आदेश दिए गए है। वहीं बर्ड फ्लू के खतरे को देखते हुए रविवार को लखनऊ चिड़ियाघर का बर्ड सेक्शन दर्शकों के लिए बंद कर दिया गया है। साथ ही बर्ड हाउस में लोगों के जाने पर रोक लगा दी गई है।
इस संबंध में आज लखनऊ चिड़ियाघर के निदेशक आरके सिंह ने कहा कि बर्ड फ्लू की आशंकाओं को देखते हुए एहतियातन चिड़ियों के बाड़े, बत्तख के पौंड को बंद कर दिया गया है। साथ ही ये भी बताया कि असल में नवंबर से दिसंबर तक प्रवासी पक्षियों का प्रवास हिंदुस्तान होता है, जिसके बाद पक्षी जनवरी-फरवरी तक यहीं प्रवास करते हैं। फरवरी के अंत से मार्च तक ये पक्षी वापस लौटते हैं।
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जू निदेशक ने आगे ये भी बताया कि प्रवासी पक्षियों की बीट में वायरस होने की वजह से बर्ड फ्लू फैलता है। यही कारण है कि इस मौसम में बर्ड फ्लू की आशंकाएं सबसे ज्यादा होती हैं। इन्हीं स्थितियों से निपटने के लिए एहतियात चिड़ियों के बर्ड सेक्शन को बंद किया गया है। साथ ही आरके सिंह ने कहा चिड़ियाघर के परिंदों पर खास नजर रखी जा रही है, खासकर विदेशी पक्षियों पर। स्थिति सामान्य होने पर बहुत जल्द ही फिर से दर्शक विदेशी पक्षियों को देख सकेंगे।
चिड़ियाघर के निदेशक ने ये भी बताया कि पक्षियों में किसी भी तरह की हैपनिंग दिखे जाने पर उन्हें तुरंत आइसोलेट किया जा रहा। उन्होंने कहा कि हर बाड़े पर निगरानी रखी जा रही है। अगर कोई भी परिंदा मरता है या किसी भी तरह से आ व्यवहारिक दिखता है तो उसे तुरंत आइसोलेट किया जा रहा। साथ ही डॉक्टरों की टीम भी 24 घंटे मुस्तैद है। जानवरों को दिए जाने वाले खानपान पर भी नजर रखी जा रही है। इसके अलावा मांसाहारी पशुओं को प्रारंभिक तौर पर अभी मुर्गे का मीट नहीं दिया जा रहा तथा साफ सफाई की व्यवस्था चिड़ियाघर में रखी जा रही है।