खबर का असर, अब ‘चार आना’ में LDA नहीं बेचेगा 799 की डॉयरी और 880 का मोबाइल कवर

jpnic museum

आरयू इम्‍पैक्‍ट

लखनऊ। करीब तीन महीने से भारत रत्‍न जयप्रकाश नारायण के नाम पर जनता को लूट रहे एलडीए के इंजीनियरों ने अपने हरकत में सुधार कर लिया है। ‘राजधानी अपडेट’ के मुद्दा उठाने के बाद जेपीएनआईसी के म्‍यूजियम में चल रही ‘चार आना’ दुकान के सभी सामानों के रेट में बीस प्रतिशत कटौती की गई है। नए दामों पर सामान मंगलवार से मिलने लगेगा। एक्‍सईएन बीपी मौर्या ने बताया कि सामान बनाने वाली कंपनी और सप्‍लायरों से बात कर दाम कम करा दिया गया है। हालांकि अब भी सामानों का रेट बाजार भाव से कही ज्‍यादा है।

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बता दें कि गोमतीनगर में मुख्‍यमंत्री अखिलेश यादव का ड्रीम प्रोजेक्‍ट जेपीएनआईसी 883 करोड़ की लागत से एलडीए तैयार करा रहा है।

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तय समय से काफी पीछे चल रहे निर्माण कार्य की वजह से बीते 11 अक्‍टूबर को सीएम ने पूरे जेपीएनआईसी की जगह सिर्फ म्‍यूजियम का उद्घाटन किया था।

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लोकार्पण के साथ शुरू हुई ‘चार आना’ नाम की दुकान पर एलडीए के इंजीनियर जनरल यूज में आने वाला मोबाइल कवर 880, डॉयरी 799, मिल्‍क मग 340 और झोला 499 रुपये समेत 30 आइटमों को बाजार के दामों से कही ज्‍यादा रेट पर बिकवा रहे थे।

chaar aana in jpnic
चार आना दुकान के कुछ सामानों की लिस्ट । फोटो- आरयू

हालांकि नए और लाखों-करोड़ों रुपये के घोटाले के लिए चर्चा में रहने वाले लखनऊ विकास प्राधिकरण के अभियंताओं को उनकी इमेज के हिसाब से इस दुकान से कोई खास फायदा नहीं हो रहा था। दुकान में पहुंचने वाले अधिकतर ग्राहक उनकी नासमझी वाली लूट पर हैरत जताते हुए लौट जा रहे थे।

सचिव ने कार्यसमिति की बैठक में लगाई लगाम

‘राजधानी अपडेट’ ने पांच नवंबर को ‘सीएम का डर न लोनायक का सम्‍मान, जेपीएनआईसी में एलडीए की खुली लूट’ और 14 दिसंबर को ‘जागा एलडीए बंद होगी जेपीएनआईसी के संग्राहलय में चल रही ‘चार आना’ की लूट’ हेडलाइन से खबर पोस्‍ट कर पूरे मामले को एलडीए के जिम्‍मेदार अधिकारियों और जनता के सामने रखा था। जिसके बाद सचिव अरूण कुमार ने एलडीए की इमेज को दाग लगाने वाली अभियंताओं की इस हरकत पर कार्य समिति की बैठक में लगाम लगाई है। सचिव ने बताया कि इस तरह की हरकतों को बरदाश्‍त नहीं किया जा सकता।

साल के पहले दिन ही बंद रही दुकान, मायूस लौटे लोग

सामानों के दाम एक जनवरी से ही घटाने के निर्देश सचिव ने मातहतों को दिये थे, लेकिन सीएम के ड्रीम प्रोजेक्‍ट और अपने अधिकारी के प्रति लापरवाह इंजीनियरों ने साल के पहले दिन गलती सुधारने में दिलचस्‍पी नहीं ली।

यही वजह है कि सामानों का दाम सही करना तो दूर दुकान भी नहीं खोली जा सकी। जिसके चलते न्‍यू ईयर पर दुकान पहुंचे लोगों को मायूस लौटना पड़ा। म्‍यूजियम के कर्मचारी अविनाश मिश्रा ने बताया कि नए रेट सिस्‍टम में फीड नहीं होने की वजह से रविवार को दुकान बंद रखी गई, जबकि सोमवार को म्‍यूजियम की साप्‍ताहिक बंदी है।