आरयू वेब टीम।
बिहार के गया की अदालत में आज एक बार फिर साबित हो गया कि गुनाहगार कितना ही ताकतवर क्यों न हो हर बार उसका बचना मुमकिन नहीं है। कार से साइड नहीं मिलने के विवाद पर एमएलसी के बेटे रॉकी यादव समेत तीन लोगों को उम्रकैद की सजा सुनाई हैं। वहीं एमएलसी के पति को हत्यारे का साथ देने के आरोप में पांच साल की सजा दी है।
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गया के बहुचर्चित आदित्य सचदेवा हत्याकांड में एडीजे-प्रथम सच्चिदानंद सिंह की अदालत ने सजा के बिंदु पर फैसला सुनाते हुए हत्या के दोषी करार मुख्य अभियुक्त रॉकी यादव, उसके सहयोगी व चचेरे भाई टेनी यादव और एमएलसी मनोरमा देवी के बॉडीगार्ड राजेश कुमार को आजीवन कारावास की सजा सुनायी। साथ ही रॉकी पर एक लाख का आर्थिक दंड भी लगाया गया है।
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बताते चलें कि इस मामले में सुप्रीम कोर्ट के हस्तक्षेप के बाद गया के अतिरिक्त जिला और सत्र न्यायाधीश सच्चिदानंद प्रसाद सिंह की अदालत ने 31 अगस्त को अपना फैसला सुनाते हुए चारों अभियुक्तों को दोषी करार दिया था।