शासनादेश के खिलाफ कुर्सी पर जमे इंजीनियरों की लिस्‍ट बनाने में LDA को लगे डेढ़ महीने, फिर भी छूटे कई नाम, 39 अभियंताओं के ट्रांसफर पर उठें ये सवाल

एलडीए

आरयू ब्‍यूरो, लखनऊ। एलडीए के आलाधिकारियों के लाख दावों के बावजूद लखनऊ विकास प्राधिकरण की गाड़ी पूरी तरह पटरी पर आने से पहले ही एक बार फिर बेपटरी होती नजर आ रही। यही वजह है कि शासनादेशों के खिलाफ लंबे समय से कुर्सी पर जमे इंजीनियरों के नामों का खुलासा होने के बावजूद उनकी लिस्‍ट बनाने में एलडीए को डेढ़ महीने लग गए।

डेढ़ महीने बाद गुरुवार को चीफ इंजीनियर ने 15 एई व 23 जेई समेत 39 इंजीनियरों की तैनाती में फेरबदल किया है। खास बात यह है कि इतनी लंबी अवधि बीतने के बावजूद लिस्‍ट में शासन की मंशा के विपरीत जमें दर्जनों इंजीनियरों के नामों को शामिल ही नहीं किया गया।

इसके उलट दो महीना पहले जिन इंजीनियरों का ट्रांसफर किया गया था आज एक बार फिर उनकी तैनाती में फेरबदल किया गया है। जिस तरह से आज एई व जेई का ट्रांसफर किया गया है उससे कई सवाल उठ रहें। हालांकि नियमों को दरकिनार कर सालों से एक ही कुर्सी पर जमे कई इंजीनियरों को भी आज हटाया गया है। इसके अलावा कई साल से प्रवर्तन में तैनात दर्जनों एई व जेई का मात्र जोन बदलते हुए एक बार फिर प्रवर्तन में ही क्‍यों तैनाती दी गयी है। जबकि शासन के निर्देशों को मानें तो एई को दो साल और जेई को एक साल से अधिक प्रवर्तन में तैनात किया ही नहीं जा सकता।

साथ ही सवाल यह भी उठ रहा है कि आज प्रवर्तन जोन छह के लगभग सभी इंजीनियरों को एक साथ प्रवर्तन के ही जोन पांच में क्‍यों तैनात किया गया, जबकि इनमें से ही पूर्व में गंभीर आरोप लगने पर एसएन शाक्‍या, भारत पांडेय व एनएन चौबे को एलडीए वीसी ने एक साथ प्रवर्तन से हटाकर उद्यान भेजा था। हालांकि तत्‍कालीन वीसी शिवाकांत द्विवेदी के हटने के बाद ही तीनों इंजीनियर न सिर्फ जोन छह में एक साथ वापस आ गए, बल्कि अब अभिषेक प्रकाश के कार्यकाल में इस तिकड़ी को एक साथ प्रवर्तन के जोन पांच में भेज दिया गया।

वहीं प्रवर्तन के अन्‍य जोन में तैनात कई इंजीनियरों को एक साथ प्रवर्तन के दूसरे जोन में भेज गया है। तैनाती में इस तरह के फेरबदल को देखते हुए कहा जा रहा है कि पहले इंजीनियर बदलते थे और अब कई इंजीनियरों को एक साथ एक से दूसरे जोन में तैनाती दिए जाने से लग रहा है कि इंजीनियर की जगह एक तरह से जोन का ही तबादला कर दिय गया है।

एक्‍सईएन का प्रभार संभालने वाले एई को भूले सीई

शासनादेश दरकिनार कर सहायक अभियंता से प्रभारी अधिशासी अभियंता के पद पर पर तैनात किए गए एई वीपी सिंह की भी कुर्सी पर आज आंच नहीं आने दी गयी है। एक्‍सईएन नहीं होने के बावजूद विद्युत यांत्रिक की अधिकतर महत्‍वपूर्ण जिम्‍मेदारी पाने वाले वीपी सिंह के बारे में चीफ इंजीनियर का डेढ़ महीने पहले तक दावा था कि सबकी पोस्टिंग पद के अनुरूप की जाएगी। आज तबादले के बाद मुख्‍य अभियंता एलडीए में विद्युत यांत्रिक के एक्‍सईएन की कमी होने का तर्क दे रहें, हालांकि एई को गुपचुप तरीके से पोस्टिंग देने की जगह नियमानुसार बोर्ड बैठक से अनुमति क्‍यों नहीं ली गयी इस बारे में चीफ इंजीनियर जानकारी होने से ही इंकार कर रहें हैं। यह हालात त‍ब हैं, जब हाल ही में एलडीए के 58 संदिग्‍ध कामों में से अकेले 12 टेंडर वीपी सिंह द्वारा ही कराए जाने की बात सामने आ चुकी है, हालांकि इन 58 टेंडर की जांच अभी जारी है।

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इनकी तैनाती में भी होना था फेरबदल

अभियंत्रण खंड में तीन साल से अधिक समय से तैनात इंजीनियर

जोन एक- सहायक अभियंता राजकुमार वर्मा व नरेंद्र कुमार, जेई जेपी सिंह व राजेश श्रीवास्‍तव।

जोन दो- एई आलोक सिंह, जेई सुरेश कुमार, अशोक कुमार, ओपी राय व मुकेश कुमार।

जोन तीन- एई राजकुमार व जेई बिजेंद्र कुमार शर्मा।

जोन पांच- जेई शिव कुंवर।

जोन सात- जेई अब्‍दुल कदीर व राजेश राय।

अनुरक्षण- जेई शिवशंकर सिंह व दीन दयाल।

मानचित्र सेल- जेई उस्‍मान खान, आरके अवस्‍थी व शशि भूषण मिश्र।

प्रवर्तन के जोन में नियम विरूद्ध अब भी जमें एई-जेई

जोन एक- जेई जितेंद्र कुमार।

जोन दो- अवर अभियंता रविंद्र शुक्‍ला व चमन त्‍यागी।

जोन तीन- जेई भानु प्रताप व रविंद्र सिंह।

जोन चार- जेई सुभाष चंद्र।

जोन पांच- जेई संजय शुक्‍ला व जितेंद्र मोहन।

जोन छह- एई नागेंद्र सिंह, जेई कुलदीप त्‍यागी व सुशील कुमार वर्मा।

जोन सात- जेई मोहन यादव।

39 इंजीनियरों को ट्रांसफर लिस्‍ट में जहां आज मनमानी करते हुए लंबे समय से तैनात उपरोक्‍त इंजीनियरों को बार फिर नहीं हटाया गया है। वहीं इसके उलट करीब दो महीना पहले ही मैप सेल से हटाकर अभियंत्रण जोन चार में भेजे गए जेई रंगनाथ मिश्रा का आज एक बार फिर ट्रांसफर करते हुए प्रवर्तन जोन चार में भेज गया। इसके अलावा दो महीना पहले ही जोन एक से मानचित्र सेल भेजे गए जेई रवि खरे की भी आज अभियंत्रण जोन एक में ही वापसी करा दी गयी है।

नियमों की अनेदखी कर तैनात इन इंजीनियरों की आज बदली जिम्‍मेदारी

अभियंत्रण जोन एक से जेई एपी द्विवेदी व आशीष श्रीवास्‍तव, जबकि जोन पांच से एई अजय गोयल हटाए गए।

इसके अलावा प्रवर्तन के जोन से भी हटेे ये इंजीनियर

जोन एक- जेई अम्‍बरीश शर्मा, एचपी गुप्‍ता व आरके शर्मा।

जोन दो- जेई विनोद शंकर सिंह।

जोन तीन- जेई आशु।

जोन चार- एई राजेश तोमर।

जोन पांच- एई एसएन प्रसाद, जेई अजय महेंद्र, ज्ञानेश्‍वर सिंह व बिजेंद्र सिंह।

जोन छह- एई नरेश सिंह शाक्‍या, जेई डीके शुक्‍ला, एनएन चौबे व भरत पांडेय।

जोन सात- एई संजय जिंदल, जेई रवि शंकर राय व रवि प्रकाश।

बताते चलें कि “Rajdhaniupdate,com” ने बीती 12 फरवरी को “LDA में उड़ रहीं शासनादेशों की धज्जियां, इंजीनियरों की तैनाती में सामने आयीं ऐसी मनमानी कि खबर पढ़ने के बाद आप भी कहेंगे आखिर अफसर कर क्‍या रहें” शीर्षक के साथ न्‍यूज पोस्‍ट कर करीब 50 इंजीनियरों के नामों के साथ उनकी पोस्टिंग में गड़बडियों का खुलासा किया था। खुलासे के बाद एलडीए में आए दिन जेई व एई की तैनाती के फेरबदल के खेल पर तो रोक लग गयी थी। वहीं मुख्‍य अभियंता इंदू शेखर सिंह ने भी दावा किया था एक भी इंजीनियर की पोस्टिंग शासनादेशों के विरूद्ध नहीं रहेगी। हालांकि आज जारी हुई लिस्‍ट ने उनके दावों की पोल खोल दी है।

नियम विरूद्ध तैनात इंजीनियरों का नाम जानने के लिए यहां क्लिक करें- LDA में उड़ रहीं शासनादेशों की धज्जियां, इंजीनियरों की तैनाती में सामने आयीं ऐसी मनमानी कि खबर पढ़ने के बाद आप भी कहेंगे आखिर अफसर कर क्‍या रहें

जानें क्‍या है शासन का आदेश, जिनका पालन नहीं करा पा रहें अफसर

उल्‍लेखनीय है कि प्रवर्तन, इंजीनियरिंग व एई को प्रभारी अधिशासी अभियंता के रूप में चार्ज दिए जाने के संबंध में अलग-अलग शासनादेश है। फरवरी 2001 के शासनादेश के अनुसार प्राधिकरण में जेई व एई अभियंत्रण के एक ही जोन में अधिकतम तीन साल तक ही तैनात किए जा सकते हैं। एक बार हटाए जाने के बाद किसी भी परिस्थिति में दोबारा उस क्षेत्र में तैनाती नहीं मिलनी चाहिए।

वहीं अगस्‍त 2017 में शासन की ओर से जारी निर्देशों के अनुसार प्रवर्तन में एई छह, जबकि जेई तीन महीने से अधिक समय तक एक ही जोन या क्षेत्र में तैनात नहीं किया जा सकता। इसके अलावा सहायक अभियंता को अधिशासी अभियंता का सीधे प्रभार देने की भी जुलाई 2004 के एक शासनादेश में सख्‍ती से मनाही है। शासनादेश के अनुसार बेहद जरूरी होने पर प्रस्‍ताव बनाकर प्राधिकरण की बोर्ड बैठक से अनुमति लेने के बाद ही किसी भी एई को एक्‍सईएन का प्रभार दिया जा सकता है।

देखें कहां मिली अब सहायक अभियंताओं को तैनाती

आज जारी आदेश के अनुसार प्रवर्तन जोन छह में तैनात एई एसएन शाक्‍या को प्रवर्तन के ही जोन पांच, अभियंत्रण जोन पांच से अजय गोयल को प्रवर्तन जोन एक तथा एई एसएन प्रसाद को प्रवर्तन जोन पांच से अभियंत्रण जोन चार भेजा गया। एई राजकुमार से प्रवर्तन जोन एक का चार्ज हटा दिया गया है। राजकुमार अब सिर्फ अभियंत्रण जोन तीन का काम देखेंगे। सहायक अभियंता राकेश प्रताप को इंजीनियरिंग के जोन सात में तैनाती मिली है।

वहीं एई संजय जिंदल को प्रवर्तन जोन सात से हटाकर अभियंत्रण जोन दो में तैनात किया गया है। एई नरेंद्र कुमार अब अपने पूर्व के कामों के साथ ही गोमतीनगर विस्‍तार स्थित जनेश्‍वर मिश्र पार्क को छोड़कर अन्‍य सभी पार्कों का काम भी देखेंगे। इसके अलावा एई योगेंद्र प्रताप सिंह को मानचित्र सेल से उद्यान में तैनाती दी गयी है। रवि खरे को मानचित्र सेल से हटाकर अभियंत्रण जोन एक में भेजा गया है।

इसके अलावा एई इस्‍माइल खान को अभियंत्रण जोन चार से प्रवर्तन जोन छह में तैनात किया गया है। वहीं एई विपिन कुमार त्रिपाठी को अभियंत्रण जोन सात से अनुरक्षण में तैनाती मिली है। सहायक अभियंता राजीव मिश्रा को अभियंत्रण जोन पांच में तैनात किया गया है। एई राजपाल सिंह सिसोदिया को अभियंत्रण जोन दो से एईटी के पद चीफ इंजीनियर के कार्यालय में तैनाती की गयी है। एई राजीव खरे को अभियंत्रण जोन चार से प्रवर्तन जोन चार व राजेश सिंह तोमर को प्रवर्तन जोन चार से प्रवर्तन जोन सात भेजा गया है।

जूनियर इंजीनियरों की नवीन तैनाती-

एलडीए में नवनियुक्‍त जेई नागेंद्र मिश्रा को प्रवर्तन जोन दो, डीके शुक्‍ला व एसपी सिंह को प्रवर्तन जोन छह से एक साथ प्रवर्तन जोन सात, अजय महेंद्र व जितेंद्र मोहन को प्रवर्तन जोन पांच से एक साथ प्रवर्तन जोन छह, अमबरीश शर्मा को प्रवर्तन जोन एक से प्रवर्तन जोन छह, सुशील कुमार सिंह को अभियंत्रण जोन चार से प्रवर्तन जोन पांच, एनएन चौबे व भरत पांडेय को प्रवर्तन जोन छह से प्रवर्तन जोन पांच में तैनाती दी गयी है।

इसके अलावा अवर अभियंता एचपी गुप्‍ता को प्रवर्तन जोन एक से प्रवर्तन जोन दो, विनोद शंकर सिंह प्रवर्तन जोन दो से प्रवर्तन जोन तीन, रवि शंकर राय व रवि प्रकाश को प्रवर्तन जोन सात से प्रवर्तन जोन एक, शिव कुमार को मैप सेल से अभियंत्रण जोन छह, आरके शर्मा को प्रवर्तन जोन एक से अभियंत्रण जोन पांच, एके द्विवेदी को अभियंत्रण जोन एक से अभियंत्रण जोन पांच, लक्ष्‍मण सिंह को मैप सेल से अभियंत्रण जोन एक, आशु को प्रवर्तन जोन तीन से अभियंत्रण जोन एक, अशीष श्रीवास्‍तव को अभियंत्रण जोन एक से जेईटी, रंगनाथ सिंह को अभियंत्रण जोन चार से प्रवर्तन जोन चार, ज्ञानेश्‍वर सिंह को प्रवर्तन जोन पांच से प्रवर्तन जोन चार, बिजेंद्र सिंह को प्रवर्तन जोन पांच से प्रवर्तन जोन एक, जबकि एलडीए में नवनियुक्‍त संजय मिश्रा को प्रवर्तन जोन चार में तैनाती दी गयी है।

लगातार दूसरे दिन घटाया अधिशासी अभियंता का कद

वहीं टेंडर में गड़बड़ी करने का आरोप लगने पर बुधवार को अधिशासी अभियंता पीएस मिश्रा से जोन एक का प्रभार हटाकर एक्‍सईएन अजय पवार को सौंपने के बाद गुरुवार को एलडीए वीसी अभिषेक प्रकाश ने कई योजनाओं का निर्माण कार्य देख रहे अधिशासी अभियंता के कार्य क्षेत्र में कटौती की है। वीसी की मंशा के अनुरूप कार्य नहीं करने के चलते अब अनुरक्षण के कार्य को छोड़कर ओपी मिश्रा के अन्‍य कामों का जिम्‍मा अधिशासी अभियंता नवनीत शर्मा को वीसी ने सौंपा है।