आरयू ब्यूरो, लखनऊ। आयुष्मान योजना के तहत मरीजों को अब और बेहतर इलाज मिल सकेगा। योगी सरकार आयुष्मान योजना में जांच का बजट बढ़ाने जा रही। अब एमआरआइ और पैट स्कैन समेत कई महंगी जांचें भी मुफ्त हो सकेंगी। अभी तक साल में रेडियोलॉजी जांच पर पांच हजार रुपये की सीमा थी, लेकिन अब इलाज के कुल पैकेज में सभी तरह की रेडियोलॉजिकल जांचों का शुल्क भी जोड़ा जाएगा।
केंद्र सरकार नेशनल हेल्थ अथॉरिटी ने राज्यों को इसका प्रस्ताव भेज दिया है। शर्त है कि इस योजना का 40 फीसदी खर्च राज्य सरकार को उठाना होगा, जबकि योजना में करीब 800 तरह के पैकेज की रकम सीमा बढ़ेगी। आयुष्मान योजना के तहत पंजीकृत रुपये का इलाज सरकारी और निजी अस्पताल में करा सकते हैं।
इस योजना के तहत अब तक पंजीकृत मरीज साल भर में पांच हजार रुपये तक की रेडियोलॉजी जांच करा पाते थे। इससे महंगी जांच कराने के लिए खुद भुगतान करना पड़ता था। पैकेज में बीमारी के हिसाब से जांचों का शुल्क भी अब जोड़ दिया जाएगा। स्टेट हेल्थ एजेंसी से संबंधित संगीता सिंह ने बताया कि केंद्र सरकार से पत्र मिला है, जिसमें संशोधन की बात है।
यह भी पढ़ें- CM योगी की धार्मिक जुलूस पर सख्ती, शांति कायम रखने की देनी होगी गारंटी
बता दें कि प्रदेश में इसमें करीब छह करोड़ सदस्य हैं, जिनको पांच लाख रुपये तक का इलाज सरकारी और प्राइवेट अस्पतालों में फ्री में मिलता है। दरअसल आयुष्मान योजना में बदलाव की वजह यह है कि जांचों के लिए पांच हजार रुपये शुल्क तय रहने से कैंसर, न्यूरो और दिल जैसी गंभीर बीमारी से जूझ रहे मरीजों को दिक्कत हो रही थी।
इसके अलावा बाहर एमआरआई जांच 3500 से सात हजार और पैट स्कैन 11 से 15 हजार रुपये में होता है। वहीं, सीटी स्कैन एक से डेढ़ हजार रुपये में होता है। यह रकम गरीब लोगों की जेब पर भारी पड़ रही थी, इसलिए सरकार ने इस योजना में बदलाव करने का मन बनाया है।