आरयू ब्यूरो,
लखनऊ। अटल बिहारी वाजपेयी का उत्तर प्रदेश से अटूट संबंध था। सार्वजनिक जीवन की शुरूआत उन्होंने यहां के बलरामपुर जनपद से की तथा पांच बार लखनऊ से सांसद रहे। सुशासन के आधार नींव थे अटल जी। ये बातें पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी की 95वीं जयंती के मौके पर मंगलवार को लोक भवन में ‘महानायक अटल’ विषय पर आयोजित परिचर्चा के दौरान मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कही।
सीएम ने आगे कहा कि पंडित दीनदयाल उपाध्याय एवं श्यामा प्रसाद मुखर्जी से अटल जी ने राजनीति के गुण सीखें तथा राजनीति में विश्वास के प्रतीक बनें। उन्हें अनेक पदों पर रहते हुए जो सम्मान प्राप्त हुआ वह अद्भुत है। वे लंबे समय तक लोकतंत्र के सजग प्रहरी के रूप में काम करते रहे, जो सभी जनप्रतिनिधियों के लिये अनुकरणीय भी है।
इस दौरान यूपी के सीएम ने ऐलान करते हुए कहा कि अटल जी की स्मृति में कई योजनाओं का शुभारंभ किया जा चुका है और अब लोक भवन में उनकी 25 फुट ऊंची प्रतिमा भी स्थापित की जाएगी।
लखनऊ से सांसद रहते हुए भी यहां नहीं बनाया निजी आवास
इस दौरान राज्यपाल राम नाईक ने कहा कि यह सुखद संयोग है कि ईसाई धर्म के संस्थापक प्रभु ईशा मसीह, महामना मदन मोहन मालवीय तथा अटल बिहारी वाजपेयी की जन्मतिथि एक ही है। मैं सभी महान व्यक्तियों को नमन करता हूं। राज्यपाल ने कहा कि अटल बिहारी वाजपेयी राजनीति के महानायक तथा देश के सर्वमान्य नेता थे। दल के लोग उनकी प्रशंसा करें तो स्वाभाविक है पर अटल जी की स्तुति विपक्षी दल के नेता भी करते हैं। उन्होंने आगे कहा कि अटल जी में सबको साथ लेकर चलने की विशेषता थी तथा उन्होंने देश को नई ऊंचाईयों पर पहुंचाया। साथ ही वो ऐसे प्रधानमंत्री थे, जिन्होंने लखनऊ से सांसद रहते हुए भी अपना निजी आवास यहां नहीं बनाया।
अटल जी के सानिध्य में टूट जाते थे दलों के बंधन
परिचर्चा को संबोधित करते हुए केंद्रीय गृहमंत्री राजनाथ सिंह ने कहा कि व्यवहार, आचरण और कार्यशैली अटल जी से सीखने की जरूरत है। उनकी नाराजगी भी स्नेहिल होती थी। कूटनीति के मैदान के साथ-साथ युद्ध के मैदान में भी उन्होनें विजय प्राप्त की। अटल जी के सानिध्य में जाने पर दलों के बंधन भी टूट जाते थे।
इस अवसर पर मौजूद राज्यपाल राम नाइक, मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ, केंद्रीय गृह मंत्री राजनाथ सिंह, विधानसभा अध्यक्ष हृदय नारायण दीक्षित, उप मुख्यमंत्री डॉ. दिनेश शर्मा, मंत्रिमण्डल के अन्य सदस्यों के अलावा महापौर डॉ. संयुक्ता भाटिया ने परिचर्चा से पहले लोक भवन परिसर में लगे अटल बिहारी वाजपेयी के चित्र पर पुष्प अर्पित करके अपनी श्रद्धांजलि अर्पित की।
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