आरयू ब्यूरो, लखनऊ/जौनपुर। बेरोजगारी व व्यापार में मंदी के चलते आज उत्तर प्रदेश के जौनपुर में दिल दहलाने वाली एक घटना हो गयी। मड़ियाहूं कोतवाली क्षेत्र के जयरामपुर गांव में 37 वर्षीय युवक ने अपनी पत्नी, दो बेटी व मासूम बेटे की कपड़े से गला कस हत्याकर खुद भी फांसी लगाकर जान दे दी। इस घटना में पांचों की मौत से गांव में हड़कंप मच गया। जिसने भी एक घर में पांच लाशें देखीं सहम उठा।
घटना की जानकारी पाकर मौके पर पहुंची पुलिस ने शव को कब्जे में लेकर जांच शुरू कर दी है। पुलिस की शुरूआती जांच में सामने आया है कि टेंट का व्यापार नहीं चलने और बेरोजागारी से परेशान युवक ने चपरासी की नौकरी के लिए सात लाख रुपए दिए थे, लेकिन इसके बाद भी उसे न तो नौकरी मिली और न ही उसके पैसे ही वापस मिल रहे थे।
बताया जा रहा है कि जयरामपुर गांव निवासी नागेश विश्वकर्मा कठियांव मार्ग पर टेंट का व्यवसाय करते थे। व्यापार में मंदी व बेरोजगारी के चलते नागेश अकसर परेशान रहता था। बुधवार की सुबह देर तक जब नागेश के परिवार का भी सदस्य रोज की तरह घर के बाहर नहीं निकला तो संदेह होने पर पड़ोस के लोगों ने इसकी जानकारी उसके भाई को फोन कर बताया।
सुबह करीब दस बजे मौके पर चचेरे भाई सोनू विश्वकर्मा ने जब दरवाजा की कुंंडी तोड़कर अंदर देखा तो उनकी चीख निकल पड़ी। घर के एक कमरे में चारपाई पर दो बेटियों निकिता और आयुषी, पुत्र आदर्श के शव पड़े थे। पास में ही पत्नी राधिका (35) की भी लाश पड़ी थी, पत्नी के सर पर लोहे के डंडे से वार किया गया था, जबकि बच्चों का कपड़े से गला कसकर जान ली गयी थी। नागेश का शव भी कमरे में ही फंदे से लटक रहा था।
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मौके पर पहुंचे अपर पुलिस अधीक्षक ग्रामीण ने मीडिया को बताया की थाना मड़ियाहूं अन्तर्गत ग्राम जयरामपुर निवासी नागेश विश्वकर्मा उम्र 37 वर्ष द्वारा अपनी पत्नी व तीन बच्चों की हत्या करने के बाद अपने आप को पंखे के सहारे गमछा से फांसी लगाकर आत्महत्या कर लिया गया। पुलिस को मौके से एक सुसाइड नोट भी मिला है।
एएसपी जौनपुर ग्रामीण ने बताया कि सुसाइड नोट में युवक ने पत्नी व बच्चों की हत्या के लिए खुद को जिम्मेदार ठहराया है। साथ ही यह भी कहा है कि भानु प्रताप निवासी सलारपुर के माध्यम उसने जलालपुर निवासी शिव आश्ररी के प्राथमिक विद्यालय में चपरासी की नौकरी के शिव आश्ररी सिंह को सात लाख रुपए दिए थे, लेकिन काफी समय बीतने के बाद भी उन्होंने न उसे नौकरी दिलवाई और न ही उसका सात लाख रुपया ही वापस कर रहे थे। इन्हीं बातों से परेशान होकर वह यह कदम उठा रहा है। एएसपी के अनुसार मृतक के भाई की तहरीर पर आरोपितों के खिलाफ मुकदमा दर्ज करते हुए दोनों को हिरासत में लेकर पूछताछ की जा रही है।