आरयू ब्यूरो,
लखनऊ। दिवाली पर आतिशबाजी के प्रदूषण को नियंत्रित करने के लिए सुप्रीम कोर्ट द्वारा जारी की गई गाइड लाइन को दरकिनार कर बुधवार को जमकर आतिशबाजी हुई। जिसके बाद गुरुवार सुबह वायु प्रदूषण खतरनाक स्तर पर पहुंच गया है। सुबह-सुबह धुंध से लोगों को काफी परेशानी भी देखने को मिली। इस प्रदूषण से लोगों ने सांस लेने और आंखों में जलन की दिक्कतों का सामना करना पड़ा।
वहीं इस संबंध में डॉक्टरों का कहना है कि आतिशबाजी की वजह से जहरीली हुई हवा का असर 72 घंटे तक रहेगा। एयर क्वालिटी इंडेक्स (एक्यूआई) के मामले में मुरादाबाद नंबर वन पर रहा, जबकि राजधानी लखनऊ इस पायदान पर दूसरे नंबर पर रहा। गुरुवार सुबह लखनऊ का एक्यूआई 411 था।
यह भी पढ़ें- प्रदूषण पर सुप्रीम कोर्ट सख्त, दिल्ली और NCR में पटाखों की बिक्री पर लगाई रोक
इससे एक साप्ताह पहले जारी किए गए एक्यूआइ स्तर की बात करें तो सूबे की राजधानी के अलीगंज और ट्रांसगोमती इलाके में 290 और 310 के आस-पास था, लेकिन दिवाली की रात ही इसमें 100 से ज्यादा अंकों की बढ़त दर्ज की गई है।
दूसरी ओर दिल्ली और एनसीआर के हालात भी कुछ ऐसेे ही सामने आएं हैं। दिल्ली का एक्यूआइ 329 रिकॉर्ड किया गया। गाजियाबाद 355, नोएडा 360, आगरा 308 और वाराणसी का एक्यूआइ 340 रिकॉर्ड किया गया। पश्चिम यूपी के भी कई शहर जहरीली हवा की चपेट में हैं।
यह भी पढ़ें- जहरीली धुंध से घिरा दिल्ली-एनसीआर, लोगों को सांस लेने में हो रही परेशानी
बता दें कि सुप्रीम कोर्ट के निर्देश के बावजूद दिवाली की रात जमकर आतिशबाजी हुई। साथ ही दिल्ली एनसीआर में ग्रीन पटाखे जलाने का आदेश दिया था, लेकिन लोगों ने रात डेढ़ बजे तक, जबकि लखनऊ करीब तीन बजे भोर तक जमकर आतिशबाजी की गई। इतना ही नहीं ग्रीन पटाखों को लेकर व्यापारी, अधिकारी से लेकर ग्राहकों में भी काफी कंफ्यूजन रहा, जिसकी वजह से भी आम पटाखों की जमकर बिक्री हुई।