बसपा पदाधिकारियों
बैठक में हिस्सा लेते बीएसपी के पदाधिकारी। (फोटो-आरयू)

आरयू ब्‍यूरो, 

लखनऊ। लोकसभा चुनाव का समय जैसे-जैसे करीब आ रहा है, वैसे-वैसे बसपा सुपमो मायावती ने अपने तैयारियों को तेजी देतेे हुई दिखाई दे रही हैं। आज इसी क्रम में मायावती ने बसपा कार्यालय पर अपने प्रदेश भर के पदाधिकारियों के साथ न सिर्फ जरूरी निर्देश दिए बल्कि सपा-बसपा गठबंधन के बारे में जमीनी स्‍तर पर जानकारी जुटाते हुए पदाधिकारियों के साथ समीक्षा भी की। इस दौरान जहां भी उन्‍हें कमी लगी पार्टी पदाधिकारियों से दूर करने को कहते हुए लोकसभा चुनाव में पूरे जी-जान से लगने का निर्देश दिया। इसके अलावा इस दौरान यूपी की पूर्व मुख्‍यमंत्री ने मोदी और योगी सरकार पर भी हमला बोलने में कोई कसर नहीं छोड़ी।

माल एवेन्‍यु स्थित कार्यालय में बसपा के दिग्‍गज नेताओं और पदाधिकारियों को संबोधित करते हुए मायावती ने कहा कि बीएसपी-सपा गठबंधन की तेजी से बढ़ती मजबूती व विश्‍वसनीयता से अहंकारी व जनविरोधी मोदी सरकार का जाना तय है, जिसमें आप लोगों की खास भूमिका है।

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मायावती ने बसपा पदाधिकारियों के साथ मीडिया के माध्‍यम से सपा के नेता व कार्यकर्ताओं से भी अपील करते हुए कहा कि दोनों पार्टियों के लोग छोटे-मोटे सभी आपसी गिले-शिकवे व मतभेद भुलाकर हर हाल में जबरदस्‍त तरीके से इस गंठबंधन को कामयाब बनाने के लिये पूरी लगन से काम करें, क्योंकि व्यापक जनहित व देशहित में तथा संविधान की रक्षा के लिये भी बीजेपी की जनविरोधी व अहंकारी सरकार को केन्द्र की सत्ता से हटाना बहुत जरुरी हो गया है।

बसपा पदाधिकारियों
बसपा पदाधिकारियों को संबोधित करतीं मायावती। (फोटो-आरयू)

बसपा के पदाधिकारियों में जोश भरते हुए मायावती ने कहा कि मोदी सरकार की गरीब, मजदूर व किसान-विरोधी तथा धन्नासेठ-समर्थक नीतियों व द्वेषपूर्ण कार्यकलापों से देशभर के सर्वसमाज के लोग काफी त्रस्त है और बीजेपी की सरकार से राजस्थान, मध्य प्रदेश व छत्तीसगढ़ की तरह ही आजादी चाहती है और उत्तर प्रदेश में बीजेपी को परास्त करके जनता के इस लक्ष्य की पूर्ति भलीभांति हो सकती है।

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बसपा सुप्रीमो ने आगे कहा कि इसके लिए सिर्फ बीएसपी-सपा गठबंधन ही खासकर उत्तर प्रदेश में बीजेपी को जबरदस्‍त तरीकेे से पछाड़ने में सक्षम है और यूपी की ही जनता घोर वादाखिलाफी करने वाली व जुमलेबाज बीजेपी सरकार की कमर तोड़ेंगे।

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घोर दलित व ओबीसी आरक्षण विरोधी है भाजपा की सरकारें

वहीं मोदी व यूपी समेत अन्‍य राज्‍यों की भाजपा सरकारों को घोर दलित व ओबीसी आरक्षण विरोधी बताते हुए मायावती बोलीं कि भाजपा के शासनकाल में इन वर्गों के आरक्षण की संवैधानिक व्यवस्था को निष्क्रिय बनाने का हर स्तर पर षडयंत्र करते रहने के साथ-साथ इनके आरक्षण के कोटा को भी जानबूझकर नहीं भरा गया है। जिस वजह से इन वर्गों के लोग सरकारी नौकरियों से वंचित होते जा रहे है। इतना ही नहीं बल्कि विश्‍वविद्यालयों में भी आरक्षण की व्यवस्था बदलकर एक प्रकार से निष्प्रभावी कर दी गई है। यह आरक्षण व्यवस्था विश्‍वविद्यालय के आधार पर होती थी, जिसे अब समाप्त करके विभागवार बना दिया गया है। सरकार ने इसकी सही पैरवी नहीं की है।

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इसलिये अब इस व्यवस्था की बहाली के लिये मोदी सरकार को सही कदम उठाने की जरूरत है। वहीं मायावती ने ये भी कहा कि अब इसकी भीख मांगने की जगह जनता को अपने अधिकारों के लिये कमर कसना होगा और उसके लिये आने वाला लोकसभा के आमचुनाव का समय बहुत ही उपयुक्‍त है। बैठक में बसपा के सैकड़ों पदाधिकारी मौजूद रहें।

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