आरयू ब्यूरो
लखनऊ। कर्नाटक कैडर के आईएएस अफसर अनुराग तिवारी के परिजनों की मांग के बाद आज यूपी की सरकार ने अधिकारी के मौत की जांच सीबीआई से कराने पर हामी भर दी है। प्रमुख सचिव गृह अरविंद कुमार ने मीडिया को बताया कि सरकार ने सीबीआई से जांच कराने का निर्णय ले लिया है। अब जल्द ही इसकी प्रक्रिया शुरू की जाएगी। इस दौरान डीजीपी सुलखान सिंह समेत अन्य अधिकारी भी मौजूद रहे।
इससे पहले आज सुबह अनुराग तिवारी के बड़े भाई मयंक तिवारी, मां सुशीला तिवारी, भाभी शुभ्रा तिवारी ने मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ से मिलकर मामले की गंभीरता को देखते हुए सीबीआई जांच कराने की मांग की थी। घरवालों ने सीएम के सामने कहा कि अनुराग तिवारी की मौत के पीछे बड़ा षडयंत्र है। जिसे सीबीआई ही ईमानदारी से खोल सकती है।
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वहीं मयंक तिवारी ने मीडिया से कहा कि अनुराग एक बड़े घोटाले का खुलासा करने वाले थे, लेकिन भ्रष्ट लोग उसे नहीं खोलने का दबाव बना रहे थे। उनसे जबरदस्ती साइन कराने का भी दबाव बनाया जा रहा था। इसके अलावा उन्होंने पहले भी कई बड़े मामले उजागर किए थे। यही वजह है कि अकसर उनका ट्रांसफर कर दिया जाता था।
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शुभ्रा तिवारी ने बताया कि सीबीआई की जांच होते ही हत्या से लेकर पोस्टमॉर्टम समेत सारे तथ्यों की सच्चाई खुद ब खुद सामने आ जाएगी। इसीलिए उन लोगों ने सीएम से न्याय की उम्मीद करते हुए सीबीआई जांच की मांग की थी। मुख्यमंत्री ने भी निष्पक्ष जांच कराकर उन लोगों के साथ न्याय करने का आश्वासन दिया है।
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सीएम से मिलने के बाद अनुराग के परिजनों ने एसएसपी दीपक कुमार से भी मुलाकात कर हत्या के मुकदमे की मांग की। जिसके बाद एसएसपी के निर्देश पर हजरतगंज कोतवाली में अज्ञात हत्यारों के खिलाफ धारा 302 के तहत मुकदमा पंजीकृत किया गया है। इसके अलावा अनुराग के परिजन आज मीराबाई गेस्ट हाउस भी गए।
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शाम तक नहीं हुई थी एलडीए वीसी से पूछताछ
वहीं दूसरी ओर छुट्टी के बाद आज एलडीए वीसी प्रभु एन सिंह काम पर लौट आए, हालांकि अभी तक उनसे पुलिस पूछताछ नहीं कर सकी थी। शाम करीब सात बजे जांच के लिए एसएसपी की ओर से गठित एसआईटी के प्रभारी सीओ अविनाश मिश्रा ने बताया कि अभी एलडीए उपाध्यक्ष से पूछताछ नहीं हो सकी है। हालांकि पूछताछ की तैयारी की जा रही है।
बाद में मिली जानकारी के अनुसार रात में एलडीए कार्यालय सीओ अविनाश मिश्रा के साथ पहुंची एसआईटी ने करीब तीन घंटे तक एलडीए उपाध्यक्ष से पूछताछ की।
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बता दें कि अनुराग तिवारी अपने दोस्त व बैचमेट वीसी के ही साथ मीराबाई गेस्ट हाउस के कमरा नंबर 19 में ठहरे थे। जीवित अवस्था में आखिरी बार भी उन्हें प्रभु एन सिंह के ही साथ आर्यन होटल में डीनर के दौरान देखा गया था। जबकि उसके अगले दिन तड़के ही अनुराग तिवारी की लाश गेस्ट हाउस से करीब पचास कदम की दूरी पर सड़क के लगभग बीचों-बीच मिली थी।
घटनास्थल से लेकर पोस्टमॉर्टम तक नजर आई गड़बड़ी
अब तक की जानकारी में यह सामने आ चुका है कि पुलिस ने इस मामले घटनास्थल पर कई बड़ी चूक की है। वहीं अनुराग तिवारी के पोस्टमॉर्टम के दौरान हुई भारी गड़बडि़यों का खुलासा ‘राजधानी अपडेट’ कर चुका है, जबकि परिजन शुरू से ही पोस्टमॉर्टम हाउस, पुलिस व एफएसएल के जिम्मेदारों पर गड़बड़ी करने का आरोप लगाते रहे हैं। सीबीआई जांच होने के बाद प्रदेश सरकार के गले की हड्डी बन चुके इस केस की परतें खुलने की भी पूरी उम्मीद है।
SIT ने अब तक नहीं सौंपी रिपोर्ट
वहीं दूसरी ओर तीन की जगह आज चार दिन बीत जाने के बाद भी एसआईटी अपनी रिपोर्ट एसएसपी को नहीं सौंप सकी थी।