आरयू ब्यूरो,
लखनऊ। चिनहट, मलिहाबाद और काकोरी इलाके में ताबड़तोड़ आठ डकैती डालकर राजधानी को दहलाने वाले बावरिया गैंग के शातिर डकैत दीपक बावरिया को आखिरकार शनिवार को मुखबिर की सूचना पर एसटीएफ की टीम ने पकड़ ही लिया। दीपक के साथ एसटीएफ की टीम ने उसके साथी प्रदीप बावरिया को भी गिरफ्तार करने में सफलता पायी है।
गौतबुद्धनगर से पकड़े गए बदमाशों के पास से एसटीएफ ने दो तमंचा, कारतूस व बिना नंबर की अपाचे बाइक बरामद की है। मात्र 24 साल के दीपक के ऊपर 50 हजार का ईनाम घोषित था। एसटीएफ पिछले कई महीनों से उसकी तलाश कर रही थी। दीपक पर लखनऊ, बाराबंकी समेत अन्य जिलों में लूट, हत्या व डकैती समेत अन्य संगीन धाराओं में करीब दर्जन भर मुकदमे दर्ज हैं। पूछताछ में उसने यूपी के अलावा हरियाणा और मध्य प्रदेश के भी कई जिलों में बावरिया गैंग के साथ डकैती डालने की बात कबूल की है।
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पहले भी पकड़ें जा चुके हैं दीपक के गैंग के अन्य सदस्य व सरगना
दीपक से पहले इसी साल तीन फरवरी को उसके चार साथी राजेश उर्फ पेटला, मनोज उर्फ छोटू उर्फ राकेश, राजू उर्फ रमेश तथा महेंद्र को लखनऊ पुलिस ने मुठभेड़ के दौरान काकोरी कोतवाली के बॉर्डर से गिरफ्तार किया था। इससे ठीक चार दिन बाद ही एसटीएफ ने गैंग के सरगना विनोद को सात फरवरी, गैंग के एक अन्य सदस्य 50 हजार के ईनामी डकैत दयाराम को 25 मई, जबकि एक लाख के ईनामी डकैत किशन ऊर्फ कालिया को 25 जुलाई को गिरफ्तार कर जेल भेजा था। इन सबकी गिरफ्तारी के बीच हर बार दीपक बचकर एसटीएफ की टीम से निकल जा रहा था।
दिन में फेरी रात में डकैती
एसटीएफ की पूछताछ में पकड़े गए दीपक ने बताया कि उन लोगों का गैंग दिन में कपड़ों की फेरी करता था। इसी बहाने वो लोग रेकी कर वारदात को अंजाम देने के लिए मकान को चिन्हित कर लेते थे। जिसके बाद रात को धावा बोलकर लूटपाट कर निकल जाते थे।
पकड़ें गए बदमाशों का परिचय-
दीपक बावरिया पुत्र राम प्रसाद बावरिया निवासी गैसिंहपुर थाना मोहम्मदाबाद जनपद फर्रूखाबाद। हाल पता नेताजी लेन, मेन सूरकपुर रोड, वेस्ट गोपाल नगर, नजफगढ़, दिल्ली।
प्रदीप बावरिया पुत्र फूल सिंह बावरिया निवासी ढापानंगला, थाना डींग जनपद भरतपुर, राजस्थान। हाल पता नानक प्याऊ रेलवे फैक्टरी के पीछे मितराऊ रोड, थाना नजफगढ़, दिल्ली।