केजरीवाल ने कहा, कोटा में फंसे छात्रों को वापस लाने के इंतजाम में जुटी सरकार

पद्म पुरस्कारों के लिए डॉक्टर
फाइल फोटो।

आरयू वेब टीम। कोरोना वायरस के संक्रमण पर रोक लगाने के लिए लगाए गए लॉकडाउन की वजह से लोग देश अन्‍य शहरों में फंस गए। जिसके बाद से लगातार लोग पैदल अपने घरों को जा रहे थे, तो कुछ  सरकार से भेजने की मांग कर रहे थे। केंद्रीय गृह मंत्रालय ने बुधवार को गाइडलाइंस जारी कीं और मजदूरों, बच्चों को वापस लाने की इजाजत दे दी। दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने गुरुवार को जानकारी दी कि उनकी सरकार इस काम में जुट गई है।

केजरीवाल ने सोशल मीडिया के माध्‍यम से गुरुवार को ट्वीट कर कहा कि दिल्ली के जो छात्र कोटा में फंसे हुए हैं, दिल्ली सरकार उन्हें वापस लाने के इंतजाम करने में जुट गई है।

गौरतलब है कि राजस्थान के कोटा में लाखों की संख्या में बच्चे कोचिंग लेते हैं, लॉकडाउन के बाद ये बच्चे यहां पर ही फंस गए थे। लॉकडाउन के दौरान कुछ राज्यों ने तो अपने बच्चों को स्पेशल परमिशन के तहत वापस ले आए थे।

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लेकिन दिल्ली, बिहार जैसे राज्यों ने केंद्र सरकार की अनुमति का इंतजार किया। अब जब मंजूरी मिल गई हैं, तो हर कोई इसको लेकर काम में जुट गया है। सिर्फ दिल्ली ही नहीं, बल्कि महाराष्ट्र, उत्तर प्रदेश समेत अन्य कई राज्यों ने भी अपने राज्य के मजदूरों, छात्रों या अन्य लोगों को वापस लाने की तैयारी शुरू कर दी है। कई राज्यों के लोग अलग-अलग राज्यों में फंसे हुए हैं।

केंद्रीय गृह मंत्रालय की गाइडलाइंस के मुताबिक, सभी राज्यों को बसों के जरिए सोशल डिस्टेंसिंग का पालन करते हुए मजदूरों को वापस ले जाना होगा। इसके अलावा क्वारनटीन जैसी सुविधाएं भी करने को कहा गया है।

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