आरयू ब्यूरो, लखनऊ। लोकसभा चुनाव 2024 के छठे चरण की वोटिंग के बीच समाजवादी पार्टी ने अंबेडकरनगर लोकसभा सीट से सपा उम्मीदवार एवं वरिष्ठ नेता लालजी वर्मा को नजरबंद करने का आरोप लगाया है। सपा ने इस मामले की शिकायत चुनाव आयोग से भी की है। दूसरी ओर अंबेडकरनगर पुलिस ने भी इस मामले में अपनी सफाई दे दी है। अंबेडकरनगर सीट पर सपा कैंडिडेट लालजी वर्मा की लड़ाई भाजपा प्रत्याशी एवं मौजूदा सांसद रितेश पांडेय से है।
यूपी में लोकसभा चुनाव के छठे चरण में समाजवादी पार्टी और कांग्रेस द्वारा प्रशासन पर आरोप लगाए जा रहे हैं। वोटिंग के समय सपा ने सोशल मीडिया पर एक वीडियो साझा करके अंबेडकर नगर से प्रत्याशी लालजी वर्मा को नजरबंद करने का दावा किया गया है। सपा के मीडिया सेल ने सबसे पहले इस वीडियो को अपने सोशल मीडिया पर शेयर करके यह पोस्ट किया।
जानकारी के अनुसार, अंबेडकरनगर से सपा के प्रत्याशी लाल जी वर्मा के घर पुलिस ने दल बल के साथ जाकर उन्हें निर्वासित कर दिया है और मतदान करने से दलितों, पिछड़ों और अल्पसंख्यकों को रोका जा रहा है।’ इसके बाद, चुनाव आयोग को टैग करके आगे कहा, ‘बताइए कि ये कौनसे नियम के तहत पुलिस कार्रवाई कर रही है और क्या यह आपकी अधिकारक सुनिश्चितता है? आओ अब चुनाव आयोग, कब तक भाजपा की बाग़ से नचना जारी रखोगे?’
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वहीं कांग्रेस ने उस वीडियो को साझा किया है जिसमें कहा गया है कि अम्बेडकरनगर के इंडिया गठबंधन उम्मीदवार लाल जी वर्मा को नजरबंद कर दिया जाने की उपेक्षा की जा रही है। नरेंद्र मोदी और भाजपा सरकार को हार का भय इतना आया है कि वे खुलेआम तानाशाही पर उतर आए हैं। सरकारी तंत्र का दुरुपयोग करके इंडिया गठबंधन के उम्मीदवार को उनके घर से बहार निकालने की अनुमति नहीं दी जा रही है और मतदाताओं को धमकाया जा रहा है।
वहीं ऐसा भी दावा किया जा रहा है कि यह वीडियो लवकुश वर्मा के घर का है। शुक्रवार को लवकुश वर्मा के पास से पुलिस को एक लाख रुपये मिल गए थे, जिस पर पुलिस ने जांच करने के लिए लवकुश के घर पहुंचा था, लेकिन उनके पास एक लाख रुपये थे, लेकिन वे किसी को नहीं दे रहे थे, इसलिए यह पारित संबंधित कानून का उल्लंघन नहीं था।